नई दिल्ली, 10 अक्टूबर (आईएएनएस)। ऑटो, बैंक, कंज्यूमर ड्यूरेबल्स एफएमसीजी, हेल्थकेयर समेत सभी क्षेत्रों में सितंबर में अच्छा प्रदर्शन देखने को मिला। लेकिन एनर्जी सेक्टर के शेयरों ने सभी को पीछे छोड़ दिया और महीने के दौरान 6 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की।मोतीलाल ओसवाल एसेट मैनेजमेंट कंपनी (एमओएएमसी) की ग्लोबल मार्केट स्नैपशॉट रिपोर्ट के अनुसार, निफ्टी मिडकैप 150 ने सितंबर में 3.04 प्रतिशत की बढ़त के साथ सभी प्रमुख सूचकांकों को पीछे छोड़ दिया।
पिछले तीन महीनों, छह महीनों और एक वर्ष में इसमें क्रमशः 12.98 प्रतिशत, 33.37 प्रतिशत और 29.92 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। इसी तरह, निफ्टी स्मॉलकैप 250 ने भी इसी अवधि के दौरान पिछले 3 महीने, 6 महीने और 1 साल में क्रमशः 15.99 प्रतिशत, 39.17 प्रतिशत, 32.96 प्रतिशत की वृद्धि के साथ अच्छा प्रदर्शन किया।
भारतीय शेयर बाजारों ने सकारात्मक रुझान दिखाया, जो निफ्टी 50 इंडेक्स में 2 फीसदी की वृद्धि से उजागर हुआ।
अमेरिकी बाजार में, एसएंडपी 500 और नासदाक 100 दोनों ने सितंबर 2023 में 5 फीसदी की गिरावट का अनुभव किया, सूचना प्रौद्योगिकी (आईटी) क्षेत्र एक बार फिर गिरावट में मुख्य योगदानकर्ता रहा।
वैश्विक स्तर पर, उभरते और विकसित दोनों बाजारों में क्रमशः 4 प्रतिशत और 3 प्रतिशत की गिरावट के साथ नकारात्मक प्रदर्शन देखा गया। दक्षिण कोरिया में 5 प्रतिशत की सबसे बड़ी गिरावट देखी गई, जबकि जर्मनी 6 प्रतिशत की कमी के साथ विकसित बाजारों में गिरावट का नेतृत्व कर रहा है।
सितंबर के दौरान कच्चे तेल की कीमतों में 9 फीसदी की बढ़ोतरी हुई, जिससे मुद्रास्फीति, राजकोषीय संतुलन और चालू खाता घाटे पर संभावित प्रभावों के बारे में चिंताएं बढ़ गईं।
कीमती धातुओं में भी गिरावट का सामना करना पड़ा, सोने और चांदी की कीमतों में क्रमशः 4 प्रतिशत और 5 प्रतिशत की गिरावट आई।
इसके विपरीत, बिटकॉइन और एथेरियम जैसी क्रिप्टोकरेंसी में क्रमशः 4 प्रतिशत और 2 प्रतिशत की बढ़त दर्ज की गई।
--आईएएनएस
एसकेपी