रांची, 10 फरवरी (आईएएनएस)। झारखंड के 1,250 करोड़ रुपए से भी ज्यादा के माइनिंग स्कैम के आरोपी पूर्व सीएम हेमंत सोरेन के विधायक प्रतिनिधि पंकज मिश्रा के दिन अभी जेल के भीतर ही गुजरेंगे। झारखंड हाईकोर्ट ने उसकी जमानत याचिका खारिज कर दी है। पंकज मिश्र 19 जुलाई 2022 से ही जेल में बंद है। उसने खराब स्वास्थ्य का हवाला देते हुए झारखंड हाईकोर्ट में जमानत याचिका दायर की थी। जस्टिस गौतम कुमार चौधरी की कोर्ट ने गुरुवार को सुनवाई पूरी करने के बाद फैसला रिजर्व रखा था। कोर्ट ने शनिवार को अपना फैसला सुनाया। इसके पहले भी पंकज मिश्रा की जमानत याचिका निचली अदालत से लेकर सुप्रीम कोर्ट तक में खारिज हो चुकी है।
गौरतलब है कि पंकज मिश्रा झारखंड के पूर्व सीएम हेमंत सोरेन का बेहद खास रहा है। ईडी अपनी चार्जशीट में पंकज मिश्रा को माइनिंग स्कैम का किंगपिन बता चुकी है।
वर्ष 2022 में आठ जुलाई को साहिबगंज में पंकज मिश्रा सहित 18 लोगों के ठिकानों पर ईडी ने छापेमारी की थी। पंकज के सहयोगियों के ठिकानों से 5.34 करोड़ कैश मिले थे। आरोपियों के बैंक खातों में पड़े 13.32 करोड़ रुपए भी जब्त किए गए थे।
ईडी ने जांच में पाया कि साहिबगंज में लीज से अधिक जमीन पर पत्थर खनन किया गया। यही नहीं, उन पहाड़ों को भी खोद डाला गया, जिनकी लीज नहीं हुई थी। इन सभी पर पर्यावरण को नुकसान पहुंचाने का आरोप भी साबित हुआ था।
जांच में ईडी को यह भी पता चला कि साहिबगंज जिले में अवैध पत्थर खनन पर पंकज मिश्रा का सीधा नियंत्रण था। उसके संरक्षण में ही अवैध खनन और परिवहन होता था। इसके बदले पंकज मिश्रा मोटी रकम वसूलता था, जो लोग पैसे नहीं देते थे, उसका काम रुकवा दिया जाता था।
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