आगरा, 14 जून (आईएएनएस)। वाइल्डलाइफ एसओएस की एक टीम ने आगरा की एक आवासीय सोसायटी आस्था सिटी से 10 फुट लंबे भारतीय रॉक अजगर (पायथन) को सफलतापूर्वक रेस्क्यू कर लिया।नाले से सावधानीपूर्वक बाहर निकाले जाने के बाद अजगर को अस्थायी रूप से निगरानी में रखा गया, बाद में उसे जंगल में छोड़ दिया गया।
आस्था सिटी के निवासियों ने अपने परिसर के भीतर एक नाले में विशाल अजगर को देखने के बाद तुरंत इसकी जानकारी वन्यजीव एसओएस को दी, जिसके बाद एक टीम मौके पर पहुंची।
दो सदस्यीय टीम ने घटनास्थल पर पहुंचकर अजगर को सुरक्षित रेस्क्यू किया, उसके बाद लोगों ने राहत की सांस ली।
वाइल्डलाइफ एसओएस के सह-संस्थापक और सीईओ कार्तिक सत्यनारायण ने इस मौसम में अजगरों के सामने आने वाली चुनौतियों पर प्रकाश डाला।
उन्होंने कहा, ''अजगर ठंडे खून वाला जानवर है, इसलिए वह गर्मी के मौसम में ठंडे वातावरण की तलाश करता है, जिससे कभी-कभी वह रिहायशी इलाकों में प्रवेश कर जाता है। हमारी हॉटलाइन पर कॉल आती रहती हैं जो लोगों की बढ़ती जागरूकता को दिखाती है।
वाइल्डलाइफ एसओएस के संरक्षण परियोजनाओं के निदेशक बैजू राज एम.वी. ने कहा, "बढ़ते तापमान के कारण अक्सर ये अपने प्राकृतिक आवास से दूर चले जाते हैं, जिससे इनके लोगों के बीच आने की संभावना बढ़ जाती है। हम लोगों से आग्रह करते हैं कि वे ऐसी घटनाओं की सूचना वाइल्डलाइफ एसओएस की आपातकालीन हेल्पलाइन पर देते रहें, जहां हमारी समर्पित टीम वन्यजीवों और समुदायों दोनों की सहायता के लिए तैयार रहती है।"
देश के विभिन्न भागों में शिकार के खतरों के कारण भारतीय रॉक पाइथन (अजगर) को वन्यजीव अधिनियम 1972 की अनुसूची के तहत संरक्षित किया गया है। यह इस प्रजाति की सुरक्षा के लिए संरक्षण प्रयासों के महत्व को दिखाता है।
--आईएएनएस
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