नई दिल्ली (आई-ग्रेन इंडिया)। चालू रबी मार्केटिंग सीजन के दौरान 26 अप्रैल 2023 तक भारतीय खाद्य निगम (एफसीआई) तथा उसकी सहयोगी प्रांतीय एजेंसियों द्वारा प्रमुख उत्पादक राज्यों में किसानों से 194.91 लाख टन गेहूं खरीदा गया जो पिछले मार्केटिंग सीजन की सम्पूर्ण अवधि की कुल खरीद 187.92 लाख टन से भी 7 लाख टन ज्यादा है।
गेहूं की आपूर्ति की रफ्तार बढ़ने के साथ ही इसकी सरकारी खरीद में भी इजाफा हो रहा है। उपलब्ध आंकड़ों के अनुसार इस बार पंजाब में 89.79 लाख टन, हरियाणा में 54.26 लाख टन, मध्य प्रदेश में 49.47 लाख टन, उत्तर प्रदेश में 94 हजार टन तथा राजस्थान में 38 हजार टन गेहूं खरीदा गया है। ध्यान देने की बात है कि पिछले मार्केटिंग सीजन की पूरी अवधि के दौरान हरियाणा में कुल 41.86 लाख टन तथा मध्य प्रदेश में 46.03 लाख टन गेहूं की सरकारी खरीद हुई थी जबकि इस बार 26 अप्रैल तक की खरीद उससे ज्यादा हो चुकी है।
पंजाब में पिछले साल 96.45 लाख टन गेहूं खरीदा गया था जबकि उत्तर प्रदेश में इसकी मात्रा 3.36 लाख टन रही थी। उपरोक्त पांचों राज्य संयुक्त रूप से केन्द्रीय पूल में 95 प्रतिशत से अधिक गेहूं का योगदान देते हैं।
आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार 1 अप्रैल 2023 को केन्द्रीय पूल में 83.45 लाख टन गेहूं का बकाया अधिशेष स्टॉक मौजूद था। यदि इसमें 26 अप्रैल 2023 तक की खरीद को जोड़ दिया जाए तो कुल स्टॉक 278.36 लाख टन पर पहुंच जाता है।
केन्द्रीय खाद्य मंत्रालय ने चालू रबी मार्केटिंग सीजन में कुल मिलाकर 341.50 लाख टन गेहूं की खरीद का लक्ष्य निर्धारित किया है और उसे यह लक्ष्य हासिल हो जाने की उम्मीद है। लेकिन यह देखना आवश्यक है कि गेहूं की इस सकल खरीद में हल्की क्वालिटी के माल की मात्रा कितनी है क्योंकि इस बार तीनों प्रमुख योगदान कर्ता राज्यों- पंजाब, हरियाणा एवं मध्य प्रदेश में मार्च-अप्रैल की प्राकृतिक आपदाओं से गेहूं की क्वालिटी काफी हद तक प्रभावित होने की खबर आ रही है जबकि सरकार ने कुछ शर्तों के साथ उसकी खरीद की अनुमति दे दी है।
केन्द्र शासित प्रदेश चंडीगढ़ में 7 हजार टन गेहूं भारतीय खाद्य निगम द्वारा खरीदा गया है। बिहार एवं गुजरात से अभी कोई आंकड़ा प्राप्त नहीं हुआ है।