iGrain India - धनिया की कीमतों में मजबूती : मंदे की संभावना नहीं
नई दिल्ली । चालू सप्ताह के दौरान धनिया की कीमतें मजबूती के साथ बोली गई। हालांकि सप्ताह के शुरू में उत्पादक केन्द्रों की मंडियों पर धनिया की आवक अच्छी रही लेकिन मसाला निर्माताओं एवं लोकल ट्रेडरों की अच्छी मांग के चलते कीमतों में सुधार रहा। सप्ताह के अंत में उत्पादक केन्द्रों की मंडियों पर धनिया की आवक कम रही। सूत्रों का कहना है कि आगामी दिनों में उत्पादक केन्द्रों पर सोयाबीन, मक्का अदि की आवक बढ़ने लगेगी। जबकि धनिया की आवक ओर घट जाएगी। जिस कारण से आगामी दिनों धनिया की कीमतें मजबूत रहने के अनुमान लगाए जा रहे है।
धारणा तेजी की
जानकार सूत्रों का कहना है कि धनिया वर्तमान कीमतों में मंदे की संभावना नहीं है। क्योंकि भाव कम होने के कारण इस वर्ष उत्पादक राज्य गुजरात, मध्य प्रदेश एवं राजस्थान में धनिया की बिजाई धान के पूर्वानुमान लगाये जा रहे हैं। इसके अलावा मंडियों में आवक भी कमजोर रहेगी। जबकि लोकल एवं निर्यातक मांग में सुधार रहेगा। जिस कारण से संभावना व्यक्त की जा रही है कि अक्टूबर माह के दौरान धनिया की कीमतों में 400/500 रुपए प्रति क्विंटल की तेजी बन जानी चाहिए। अधिक मंदा-तेजी बिजाई की रिपोर्ट पर निर्भर करेगा। अक्टूबर माह के अंत तक उत्पादक केन्द्रों पर बिजाई का कार्य शुरू हो जाएगा।
भाव तेज
हालांकि चालू सप्ताह के दौरान वायदा बाजार में धनिया के भाव सीमित दबे रहे। लेकिन हाजिर बजारों में धनिया की कीमतें 100/200 रुपए प्रति क्विंटल तेजी के साथ बोली गई। राजस्थान की प्रमुख मंडी रामगंज में धनिया ईगल का भाव 100 रुपए तेजी के साथ 7000/7300 रुपए पर बोला गया। जबकि सप्ताह के अंत में आवक 3000 बोरी की रही। सप्ताह के शुरू में आवक 5000 बोरी की चल रही थी। मध्य प्रदेश की गुणा मंडी ईगल का भाव 6600/7000 रुपए से तेजी के साथ 6800/7100 रुपए पर बोला गया और आवक जोकि सप्ताह के शुरू में 15/16 हजार बोरी की हो रही थी सप्ताह के अंत में 5000/5500 बोरी की रह गई। गुजरात की गोंडल मंडी में धनिया के भाव 6650/7500 रुपए से मजबूती के साथ 6700/7550 रुपए पर बोले गए आवक जोकि सप्ताह के शुरू में 8000 बोरी थी सप्ताह के अंत में घटकर 4500 बोरी की रह गई। अन्य मंडियों में भी धनिया की आवक सप्ताह के अंत में कम रही। आगामी दिनों में आवक और घटने के अनुमान लगाएं जा रहे हैं।
बिजाई घटने के अनुमान
बाजार के वर्तमान हालात को देखते हुए संभावना व्यक्त की जा रही है कि प्रमुख उत्पादक राज्य मध्य प्रदेश, गुजरात एवं राजस्थान में दूसरे वर्ष भी धनिया की बिजाई प्रभावित होने की आशंका है। सूत्रों का कहना है कि धनिया की कीमतें नीची होने के कारण किसान चना, सरसों इत्यादि की फसलों की बिजाई को प्राथमिकता देगा। उल्लेखनीय है वर्ष कि 2023 में देश में धनिया की बिजाई लगभग 5 लाख हेक्टेयर पर की गई है। और उत्पादन डेढ़ करोड़ बोरी से अधिक का रहा था। जबकि वर्ष 2024 के लिए बिजाई का क्षेत्रफल 360/370 लाख हेक्टेयर का रहा था और उत्पादन 1/1.10 करोड़ बोरी का माना गया था।
आयात
देश में धनिया का पर्याप्त उत्पादन होने के बावजूद आयातक विदेशों से धनिया का आयात करते हैं। विदेशों में धनिया की क्वालिटी हल्की होने के कारण भाव सस्ते रहते हैं। आयातित माल की अधिकांश खपत मिक्सिंग में की जाती है। उल्लेखनीय है कि वर्ष 2022-23 के दौरान 31383 टन धनिया का आयात किया गया। जबकि वर्ष 2023-24 में आयात 28828 टन धनिया का आयात किया गया है। चालू सीजन के दौरान भी इससे धनिया का आयात किया जा रहा है।
निर्यात
वर्ष 2023-24 (अप्रैल-मार्च) के दौरान धनिया का रिकॉर्ड निर्यात 108624 टन का रहा। लेकिन चालू सीजन 2024-25 के प्रथम तीन माह में अप्रैल-जून के दौरान धनिया निर्यात में गिरावट दर्ज की गई है। प्राप्त जानकारी के अनुसार अप्रैल-जून 2024 के दौरान धनिया का निर्यात 17029.32 टन का हुआ है। जबकि गत वर्ष अप्रैल-जून-2023 में निर्यात 49173.76 टन का रहा था। जुलाई-2024 में निर्यात 4383.43 टन का रहा जबकि जुलाई 2023 में निर्यात 10473.45 टन का रहा था।