iGrain India - इंदौर । यद्यपि पिछले साल की तुलना में चालू वर्ष के दौरान सोयाबीन के घरेलू उत्पादन में 3-5 लाख टन की बढ़ोत्तरी होने की उम्मीद है, सरकार ने खाद्य तेलों पर आयात शुल्क में 20 प्रतिशत की बढ़ोत्तरी कर दी है
और वैश्विक बाजार में भी इसका दाम ऊंचा चल रहा है लेकिन इसके बावजूद अमरीकी कृषि विभाग (उस्डा) ने भारत में सोयाबीन तेल का आयात 2023-24 सीजन के 32 लाख टन से 4 लाख टन बढ़कर 2024-25 के वर्तमान मार्केटिंग सीजन (नवम्बर 2024- अक्टूबर- 2025) में 36 लाख टन पर पहुंच जाने का अनुमान लगाया है।
उस्डा की नवीनतम मासिक (नवम्बर) रिपोर्ट के अनुसार भारत में 2024-25 के मार्केटिंग सीजन के आरंभ में 5.40 लाख टन सोयाबीन तेल का पिछला बकाया स्टॉक मौजूद था जबकि सीजन के दौरान 19.80 लाख टन का घरेलू उत्पादन एवं 36 लाख टन का आयात हो सकता है।
इसके फलस्वरूप सोया तेल की कुल उपलब्धता 61.20 लाख टन पर पहुंचेगी। इसमें से 57.80 लाख टन का घरेलू उपयोग एवं 20 हजार टन का निर्यात होने की उम्मीद है जिससे मार्केटिंग सीजन के अंत में 2.80 लाख टन का अधिशेष स्टॉक बच सकता है।
उस्डा के मुताबिक 2023-24 के मार्केटिंग सीजन के आरंभ में भारत में 6 लाख टन सोया तेल का बकाया स्टॉक मौजूद था जबकि 20.30 लाख टन का उत्पादन एवं 32 लाख टन का आयात हुआ।
इसमें से 52.80 लाख टन का घरेलू उपयोग हुआ और 20 हजार टन का निर्यात होने के बाद सीजन के अंत में 5.40 लाख टन का स्टॉक बच गया।
सरकार ने सोयाबीन का घरेलू उत्पादन 3 लाख टन बढ़कर 133.26 लाख टन पर पहुंचने का अनुमान लगाया है जिससे क्रशिंग के लिए इसकी उपलब्धता बढ़ सकती है।