नई दिल्ली, 20 दिसंबर (आईएएनएस)। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने बताया कि देशभर से कोविड के नए वेरिएंट जेएन.1 के 21 मामले सामने आए हैं।सूत्रों के अनुसार नए कोरोना वायरस वेरिएंट के 19 मामले गोवा से जबकि महाराष्ट्र और केरल से एक-एक मामला सामने आया है।
इससे पहले केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री डॉ. मनसुख मंडाविया ने भारत में कोविड-19 स्थिति की समीक्षा करने को लेकर बैठक ली, जिसमें कुछ राज्यों में मामलों में हालिया वृद्धि के मद्देनजर इसकी निगरानी, रोकथाम और प्रबंधन के लिए सार्वजनिक स्वास्थ्य प्रणाली की तैयारियों की समीक्षा भी की गई।
बैठक में केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण राज्य मंत्री प्रोफेसर एस.पी. सिंह बघेल और डॉ. भारती प्रवीण पवार और नीति आयोग के सदस्य स्वास्थ्य डॉ. वी.के.पॉल भी उपस्थित थे।
राज्य के स्वास्थ्य मंत्री अलो लिबांग (अरुणाचल प्रदेश), ब्रजेश पाठक (उत्तर प्रदेश), धन सिंह रावत, (उत्तराखंड), दिनेश गुंडू राव, (कर्नाटक), अनिल विज (हरियाणा), वीना जॉर्ज (केरल), विश्वजीत प्रतापसिंह राणे (गोवा) ), केशव महंत (असम), बन्ना गुप्ता, (झारखंड), डॉ. बलबीर सिंह (पंजाब), सौरभ भारद्वाज (दिल्ली); डॉ. (कर्नल) धनी राम शांडिल (सेवानिवृत्त) (हिमाचल प्रदेश); प्रोफेसर डॉ. तानाजीराव सावंत (महाराष्ट्र), दामोदर राजनरसिम्हा (तेलंगाना), डॉ. सपम रंजन (मणिपुर), और निरंजन पुजारी (ओडिशा) भी उपस्थित थे।
बैठक के दौरान मंडाविया ने चीन, ब्राजील, जर्मनी और अमेरिका जैसे दुनिया भर के कुछ देशों में कोविड-19 मामलों की बढ़ती संख्या से उत्पन्न चुनौती को रेखांकित किया और साथ ही सतर्क रहने के महत्व पर भी ध्यान दिया।
उन्होंने राज्यों से उचित सार्वजनिक स्वास्थ्य प्रतिक्रिया की योजना बनाने के लिए कोविड-19 मामलों, लक्षणों और मामले की गंभीरता के उभरते सबूतों की निगरानी करने का अनुरोध किया।
मंडाविया ने संपूर्ण सरकारी दृष्टिकोण की भावना से उभरती स्थिति से निपटने के लिए केंद्र और राज्यों के बीच सामूहिक प्रयासों की आवश्यकता पर भी जोर दिया।
उन्होंने देश में फैल रहे नए वेरिएंट का समय पर पता लगाने को सुनिश्चित करने के लिए भारतीय 'गंभीर तीव्र श्वसन सिंड्रोम-कोरोनावायरस-2' जीनोमिक्स कंसोर्टियम नेटवर्क के माध्यम से वेरिएंट को ट्रैक करने के लिए निगरानी प्रणाली को मजबूत करने का निर्देश दिया।
उन्होंने कहा, "इससे समय पर उचित सार्वजनिक स्वास्थ्य उपाय करने में सुविधा होगी।"
मंत्रालय ने एक बयान में कहा, "राज्यों, केंद्रशासित प्रदेशों से अनुरोध किया गया है कि वे परीक्षण में तेजी लाएं और बड़ी संख्या में कोविड-19 सकारात्मक मामलों और निमोनिया जैसी बीमारी के नमूनों को दैनिक आधार पर प्रयोगशालाओं में भेजें, ताकि नए वेरिएंट को ट्रैक किया जा सके।"
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री ने सभी राज्यों से सतर्क रहने, निगरानी बढ़ाने और दवाओं, ऑक्सीजन सिलेंडर और सांद्रक, वेंटिलेटर और टीकों का पर्याप्त भंडार सुनिश्चित करने का भी आग्रह किया।
मंडाविया ने अधिकारियों से पीएसए संयंत्रों, ऑक्सीजन सांद्रक और सिलेंडर, वेंटिलेटर आदि की कार्यक्षमता का आकलन करने के लिए केंद्र और राज्य दोनों स्तरों पर हर तीन महीने में मॉक ड्रिल करने को कहा और सर्वोत्तम प्रथाओं को साझा करने के लिए प्रोत्साहित किया।
केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव सुधांश पंत ने बैठक में वैश्विक कोविड-19 स्थिति और घरेलू परिदृश्य पर जानकारी दी।
पंत ने कहा कि जबकि भारत में सक्रिय कोविड मामले वैश्विक परिदृश्य की तुलना में काफी कम हैं, पिछले दो हफ्तों में सक्रिय मामलों में वृद्धि देखने को मिली है।
6 दिसंबर को 115 मामले थे जो आज की तारीख में 614 हो गए हैं। यह भी नोट किया गया कि 92.8 प्रतिशत मामले होम आइसोलेट हैं, जो हल्की बीमारी का संकेत है।
--आईएएनएस
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