नई दिल्ली, 15 जुलाई (आईएएनएस)। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने शनिवार को केंद्र की भाजपा सरकार पर कटाक्ष करते हुए कहा कि इसके शासन में "एक्ट ईस्ट" नीति पूर्वोत्तर राज्यों के लिए "एक्ट लीस्ट" (काम काम) नीति बन गई है और देश भगवा पार्टी की विभाजन की शातिर राजनीति का हमला देख रहा है। लोकसभा चुनाव 2024 की तैयारी के लिए पूर्वोत्तर राज्यों मेघालय, अरुणाचल प्रदेश, नागालैंड, मणिपुर, त्रिपुरा, सिक्किम के नेताओं की एक बैठक की अध्यक्षता के बाद कांग्रेस प्रमुख ने एक ट्वीट में यह टिप्पणी की।
कांग्रेस प्रमुख, जो राज्यसभा में विपक्ष के नेता भी हैं, ने बैठक के दौरान मणिपुर में बिगड़ती स्थिति पर प्रकाश डाला, जो सभी नेताओं की एक प्रमुख चिंता थी।
पार्टी सूत्रों के अनुसार, मिजोरम के नेताओं को बैठक में आमंत्रित नहीं किया गया क्योंकि वे पहले ही 6 जुलाई को खड़गे, पूर्व पार्टी प्रमुख राहुल गांधी और महासचिव (संगठन) के.सी. वेणुगोपाल से मिल चुके थे।
उन्होंने कहा कि चुनाव की तैयारियों पर चर्चा के लिए असम के नेताओं के साथ बाद में बैठक की जाएगी।
खड़गे ने एक ट्वीट में भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा, "मोदी सरकार की 'एक्ट ईस्ट' नीति हमारे पूर्वोत्तर राज्यों के लिए 'एक्ट लीस्ट' नीति बन गई है। भारत, आज भाजपा की विभाजन और कलह की शातिर राजनीति का हमला देख रहा है।" समुदायों को एक-दूसरे के खिलाफ खड़ा किया जा रहा है। बोलने की आजादी पर हमला हो रहा है। मौलिक अधिकारों पर सवाल उठाए जा रहे हैं।''
उन्होंने कहा कि लगातार कांग्रेस सरकारों द्वारा स्थापित शांति, अमन और प्रगति की ठोस नींव को योजनाबद्ध तरीके से खत्म किया जा रहा है।
उन्होंने कहा, "पूर्वोत्तर में कांग्रेस पार्टी द्वारा कार्यान्वित महत्वपूर्ण जीवन-बदलने वाली परियोजनाओं को भाजपा द्वारा नकली श्रेय लेने के लिए हथियाया जा रहा है। यह कांग्रेस पार्टी के प्रत्येक नेता और कार्यकर्ता के लिए सभी को एकजुट करने का समय है। विविधता में एकता हमारा हॉलमार्क भर नहीं है, यह हमारे अस्तित्व का आधार है। अब जमीन पर उतरने और बूथ स्तर से शुरुआत करने का समय है। लोगों तक पहुंचें और पूर्वोत्तर में हमारे साथी नागरिकों की आवाज को मजबूती से उठाएं। कोई भी विपक्ष सच्चाई की ताकत का सामना नहीं कर सकता है।"
उन्होंने कहा, "लोकसभा चुनाव की तैयारी के लिए आज पूर्वोत्तर राज्यों-मेघालय, अरुणाचल प्रदेश, नागालैंड, मणिपुर, त्रिपुरा, सिक्किम के हमारे नेताओं की एक बैठक हुई। हम पहले ही 6 जुलाई 2023 को मिजोरम के नेताओं के साथ एक बैठक कर चुके हैं। मणिपुर में बिगड़ती स्थिति हमारे लिए गंभीर चिंता का विषय है। हम सीमावर्ती राज्य में शांति को बढ़ावा देने और मुद्दों को हल करने के लिए सब कुछ करेंगे। कांग्रेस पार्टी हमारे संवैधानिक लोकाचार - सामाजिक न्याय, शांति, प्रगति और पूर्वोत्तर राज्यों के कल्याण के लिए लड़ने के लिए प्रतिबद्ध है।''
मणिपुर में जातीय हिंसा 3 मई को भड़की थी जिसमें 100 से अधिक लोगों की मौत हो गई और हजारों लोगों को राहत शिविरों में शरण लेने के लिए मजबूर होना पड़ा।
कांग्रेस ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की चुप्पी पर सवाल उठाया है और पूर्वोत्तर राज्य में स्थिति को नियंत्रित करने में विफल रहने के लिए मुख्यमंत्री एन. बीरेन सिंह को तत्काल हटाने की भी मांग की है।
--आईएएनएस
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