मथुरा, 1 जनवरी (आईएएनएस)। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विपक्ष पर निशाना साधते हुए कहा कि जो लोग अयोध्या जाने से संकोच करते थे, वह अब कह रहे हैं कि हमें निमंत्रण नहीं मिला। सोमवार को वृंदावन में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने संयुक्त रूप से देश की बेटियों को पहला बालिका सैन्य विद्यालय समर्पित किया। इस अवसर पर मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि महायोगी की नगरी मथुरा की पहचान अब बेटियों से भी होगी। वृंदावन में देश के पहले सैन्य बालिका विद्यालय का लोकार्पण हो गया। साध्वी ऋतंभरा द्वारा स्थापित वात्सल्य ग्राम परिसर में समविद गुरुकुलम बालिका सैन्य विद्यालय में सीबीएसई पाठ्यक्रम के साथ सैन्य प्रशिक्षण भी दिया जाएगा। इस सैन्य विद्यालय में 120 सीटें हैं। आगामी 21 जनवरी को लिखित परीक्षा होगी, जिसमें सफल अभ्यर्थियों की ई-काउंसलिंग होगी और मेरिट लिस्ट बनेगी। सत्र अप्रैल से शुरू होगा।
सीएम योगी ने कहा कि समाज को अगर सशक्त और सामर्थ्यवान होना है, तो नारी शक्ति की सुरक्षा, उनके सम्मान और स्वावलंबन के बिना यह संभव नहीं है। देश के अंदर सैनिक स्कूलों की परंपरा उत्तर प्रदेश में 1960 में प्रारंभ हुई थी, जब डॉक्टर संपूर्णानंद जी मुख्यमंत्री थे। डॉक्टर संपूर्णानंद जी ने अपने देश का पहला सैनिक स्कूल उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में स्थापित किया था। मुझे 2017 में लखनऊ के सैनिक स्कूल में जाने का अवसर प्राप्त हुआ था। उस सैन्य स्कूल की समिति का अध्यक्ष मुख्यमंत्री होता है, उसे नाते में वहां गया था। उस समय मैंने वहां पूछा था कि यहां बालिकाओं का प्रवेश है तो, उन्होंने कहा कि नहीं। मैंने कहा कि अगले सत्र से इसमें बालिकाओं का भी प्रवेश हो। 2018 में इस कार्यक्रम को हमने वहां पर प्रारंभ किया। सैनिक स्कूल लखनऊ को इस बात का भी सौभाग्य प्राप्त हुआ है कि देश के सेवा का सर्वोच्च मेडल परमवीर चक्र वहां के ही एक छात्र मनोज पांडे को मिला है, जो कारगिल युद्ध में देश की रक्षा करते हुए वीरगति को प्राप्त हुए थे।
सीएम योगी ने कहा कि आज सैनिक स्कूल हमारे बालक- बालिकाओं के मन में सेना का अनुशासन ला रहा है। जीवन का यह अनुशासन और सैन्य शक्ति का अनुशासन हम सबको आगे बढ़ाने में मदद करेगा। भारत की शक्ति का एहसास दुनिया को कराएगा। जब एक स्वर में 140 करोड़ भारतवासी, भारत की आन, बान और शान की रक्षा का कार्य अपने हाथों में लेकर के इस अभियान के साथ जुड़ेंगे।
सीएम योगी ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने हमारे सामने विकसित भारत का जो लक्ष्य रखा है, उसे 2047 तक हम जरूर प्राप्त कर लेंगे। विकसित भारत के संकल्प को पूरा करने के लिए हम सबको एकजुट होकर कार्य करना होगा।
सीएम योगी ने कहा कि हम लोग इस बात को हमेशा से जानते रहे हैं कि अयोध्या में श्री राम जन्मभूमि मंदिर आंदोलन चल रहा था, पूज्य संतों के सानिध्य में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के मार्गदर्शन में विश्व हिंदू परिषद आंदोलन को नेतृत्व प्रदान कर रहा था। उस समय हम सब यह बात कहते थे कि श्री राम जन्मभूमि का समाधान भारतवासी स्वयं कर लेंगे। जिस दिन हर सनातन धर्म स्वावलंबी एक स्वर से अयोध्या की ओर जय श्री राम की हुंकार करेगा उस दिन श्री राम जन्मभूमि का मार्ग अपने आप हो प्रशस्त हो जाएगा।
सीएम योगी ने कहा कि आपने देखा 30 दिसंबर को प्रधानमंत्री मोदी अयोध्या में पहुंचे थे। पहले जो अयोध्या का इंफ्रास्ट्रक्चर था। वहां की सड़कें, एक सिंगल रेल लाइन जाती थी। वहां पर हमने फोरलेन की कनेक्टिविटी चारों तरफ से दे दी है। अयोध्या के बाहर से ही नहीं, अंदर भी चार लेन और छह लेन की सड़कें मिलेंगी। 22 जनवरी के बाद एक बार अयोध्या जाकर देखिए आपको त्रेता युग याद आ जाएगा। हजारों वर्ष पहले प्रभु राम पुष्पक विमान से अयोध्या आए होंगे, और अब तो अयोध्या में इंटरनेशनल एयरपोर्ट का भी उद्घाटन हो गया है। रेलवे लाइन को डबल लाइन के साथ जोड़ा जा चुका है, जिसका उद्घाटन प्रधानमंत्री मोदी ने स्वयं किया है। अब तो अयोध्या और उसके आसपास पांच- छह नए स्टेशनों का विकास किया जा रहा है।
उन्होंने विपक्ष पर निशाना साधते हुए कहा कि जो लोग अयोध्या जाने से कतराते थे, जिन्हें अयोध्या का नाम लेने में संकोच होता था, आज वह भी कहते हैं कि हमें भी निमंत्रण मिलेगा तो हम भी अयोध्या जाएंगे।
--आईएएनएस
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