नई दिल्ली, 2 दिसंबर (आईएएनएस)। वक्फ (संशोधन) विधेयक, 2024 की समीक्षा के लिए गठित संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) के अध्यक्ष जगदंबिका पाल ने सोमवार को कहा कि वक्फ की संपत्ति पर अतिक्रमण के मामले में राज्य सरकारों से जानकारी मांगी गई है और अगर इस मामले की स्थिति स्पष्ट करने की जरूरत पड़े, तो हम संबंधित राज्य के मुख्य सचिव या अल्पसंख्यक विभाग के सचिव को बुलाएंगे।जगदंबिका पाल ने आईएएनएस से कहा, "वक्फ बोर्ड से जेपीसी के सदस्यों ने कहा है कि अगर उनको लगता है कि वक्फ की संपत्ति पर कहीं अतिक्रमण है, तो हमने राज्य सरकारों से इस बारे में जानकारी मांगी है, क्योंकि राज्य सरकारों का दावा है कि यह अतिक्रमण उनकी जमीन पर हुआ है। अगर इस मामले में स्थिति स्पष्ट करने की जरूरत पड़े, तो हम उस राज्य के मुख्य सचिव या अल्पसंख्यक विभाग के सचिव को बुलाएंगे। हाल ही में कल्याण बनर्जी के एक बयान पर ध्यान दीजिए, जिसमें उन्होंने कहा कि जहां भी कोई नमाज पढ़ ले, वह जगह वक्फ की जमीन बन जाएगी। ऐसे बयानों से जेपीसी के सदस्यों को इस मुद्दे पर विचार करने के लिए प्रेरित होना चाहिए।"
उन्होंने कहा, "इसके अलावा, जब बाबा साहब अंबेडकर ने संविधान तैयार किया था, तो उन्होंने कहा था कि अगर किसी बिल पर विस्तृत चर्चा हो, तो सत्ता पक्ष और विपक्ष दोनों को सहमति बनानी चाहिए और इस पर सहमति न हो तो उसे जेपीसी के पास भेजा जाना चाहिए। ममता बनर्जी की सरकार इस प्रस्तावित संशोधन विधेयक के खिलाफ राज्य में अलग विधेयक लेकर आ रही है, जो स्पष्ट रूप से दिखाता है कि वे संसदीय लोकतंत्र में विश्वास नहीं करते। इसकी बजाय, उनका उद्देश्य मुसलमानों को यह संदेश देना है कि वह उनके साथ खड़ी हैं।"
--आईएएनएस
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