नई दिल्ली, 28 नवंबर (आईएएनएस)। भारतीय नौसेना को अपने जहाजों के लिए मध्यम क्षमता वाली एंटी-मिसाइल/एंटी-एयरक्राफ्ट पॉइंट डिफेंस हथियार प्रणाली मिलेगी, इसकी घोषणा मंगलवार को की गई।रक्षा मंत्रालय के एक बयान में कहा गया है कि उपकरण और सहायक उपकरण की कीमत 2,956.89 करोड़ रुपये है।
इसके अनुसार, हथियार प्रणाली बहु-खतरे वाले परिदृश्यों में कई कार्यों में सक्षम है और मिसाइलों और अत्यधिक गतिशील तेज हमले वाले शिल्पों के खिलाफ बहुत अच्छे प्रदर्शन का एक सिद्ध रिकॉर्ड है।
रक्षा मंत्रालय ने कुल मिलाकर खरीदें (भारतीय) श्रेणी के तहत भारतीय नौसेना के लिए 16 अपग्रेडेड सुपर रैपिड गन माउंट (एसआरजीएम) के साथ संबंधित उपकरण/सहायक उपकरण की खरीद के लिए भारत हेवी इलेक्ट्रिकल्स लिमिटेड (बीएचईएल), हरिद्वार के साथ एक अनुबंध पर हस्ताक्षर किए हैं। लागत 2,956.89 करोड़ रुपये है।
अधिकारियों ने कहा कि उन्नत एसआरजीएम, जिसका निर्माण बीएचईएल द्वारा अपने हरिद्वार संयंत्र में किया जाएगा, एक मध्यम कैलिबर एंटी-मिसाइल/एंटी-एयरक्राफ्ट पॉइंट डिफेंस हथियार प्रणाली है जो आग की निरंतर दर और उच्च सटीकता प्रदान करती है।
एक अधिकारी ने कहा कि उन्नत एसआरजीएम को भारतीय नौसेना के सेवारत और नए निर्मित जहाजों पर मझगांव डॉक एंड शिपबिल्डर्स लिमिटेड, मुंबई और गार्डन रीच शिपबिल्डर्स एंड इंजीनियर्स, कोलकाता द्वारा स्थापित किया जाएगा।
रक्षा मंत्रालय ने कहा कि यह परियोजना पांच साल की अवधि में ढाई लाख मानव दिवस का रोजगार पैदा करेगी और एमएसएमई सहित विभिन्न भारतीय उद्योगों की सक्रिय भागीदारी को प्रोत्साहित करेगी, जिससे रक्षा में 'आत्मनिर्भरता' हासिल करने के सरकार के प्रयासों में योगदान मिलेगा।
--आईएएनएस
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