💎 आज के बाजार में सबसे स्वस्थ कंपनियों को देखेंशुरू करें

केंद्र के पास 1 लाख 32 हजार करोड़ के बकाया का मामलापूर्वी क्षेत्र परिषद की बैठक में उठाएगा झारखंड

प्रकाशित 08/12/2023, 07:12 pm
केंद्र के पास 1 लाख 32 हजार करोड़ के बकाया का मामलापूर्वी क्षेत्र परिषद की बैठक में उठाएगा झारखंड

रांची, 8 दिसंबर (आईएएनएस)। आगामी 10 दिसंबर को पटना में होने वाली पूर्वी क्षेत्रीय अंतरराज्यीय परिषद की बैठक में झारखंड सरकार एक बार फिर केंद्र के पास राज्य के एक लाख 36 हजार करोड़ रुपए की बकाया राशि का मामला उठाएगी। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की मौजूदगी में होने वाली इस अहम बैठक में झारखंड और बिहार के बीच पेंशन की देनदारी विवाद का मामला भी उठेगा।

इस बैठक में बिहार, झारखंड, ओडिशा, सिक्किम और पश्चिम बंगाल के मुख्यमंत्रियों के मौजूद रहने की संभावना है।

झारखंड की ओर से मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की अगुवाई में राज्य वित्त मंत्री डॉ. रामेश्वर उरांव, मुख्य सचिव एल खियांग्ते, वित्त विभाग के प्रधान सचिव अजय कुमार सिंह भी इस बैठक में शिरकत करेंगे।

पिछले साल कोलकाता में हुई बैठक में भी सीएम सोरेन ने विभिन्न कोयला कंपनियों पर लैंड कंपनसेशन और रॉयल्टी के मद में झारखंड की बकाया राशि के भुगतान की मांग उठाई थी। तब से लेकर अब तक इस दिशा में कोई प्रगति नहीं हुई है।

झारखंड सरकार के उच्च पदस्थ सूत्रों ने बताया कि राज्य में खनन का काम करने वाली कोयला कंपनियों सेंट्रल कोलफील्ड्स लि.(सीसीएल), भारत कोकिंग कोल लि. (बीसीसीएल) और ईस्टर्न कोलफील्ड् लि (ईसीएल) के पास भूमि मुआवजे के मद में झारखंड सरकार के एक लाख करोड़, सामान्य मद में 32 हजार करोड़ और धुले हुए कोयले की रॉयल्टी के एवज में 2900 करोड़ रुपए लंबे वक्त से बकाया हैं।

झारखंड सरकार राज्य में नक्सल नियंत्रण के लिए केंद्रीय सुरक्षा बलों की तैनाती के एवज में राज्य सरकार की ओर से केंद्र को राशि के भुगतान की व्यवस्था समाप्त करने की भी मांग उठा सकती है। इसके अलावा झारखंड सरकार पूर्वी क्षेत्रीय परिषद के जरिए बिहार के साथ पेंशन देनदारी का भी विवाद सुलझाना चाहती है। यह विवाद 22 साल पुराना है।

बिहार की सरकार ने पेंशन मद में झारखंड से 847 करोड़ रुपये की मांग को लेकर हाल में पत्र भेजा है। झारखंड का कहना है कि बिहार उसपर अनुचित और अतार्किक तरीके से बोझ लाद रहा है।

झारखंड सरकार छत्तीसगढ़ और उत्तराखंड का हवाला देते हुए जनसंख्या के आधार पर 25 फीसदी राशि का भुगतान करना चाहती है, जबकि बिहार सरकार चाहती है कि झारखंड को सेवानिवृत्त सरकारी कर्मचारियों की पेंशन के लिए एक तिहाई राशि भुगतान करना चाहिए।

--आईएएनएस

एसएनसी/एसकेपी

नवीनतम टिप्पणियाँ

हमारा ऐप इंस्टॉल करें
जोखिम प्रकटीकरण: वित्तीय उपकरण एवं/या क्रिप्टो करेंसी में ट्रेडिंग में आपके निवेश की राशि के कुछ, या सभी को खोने का जोखिम शामिल है, और सभी निवेशकों के लिए उपयुक्त नहीं हो सकता है। क्रिप्टो करेंसी की कीमत काफी अस्थिर होती है एवं वित्तीय, नियामक या राजनैतिक घटनाओं जैसे बाहरी कारकों से प्रभावित हो सकती है। मार्जिन पर ट्रेडिंग से वित्तीय जोखिम में वृद्धि होती है।
वित्तीय उपकरण या क्रिप्टो करेंसी में ट्रेड करने का निर्णय लेने से पहले आपको वित्तीय बाज़ारों में ट्रेडिंग से जुड़े जोखिमों एवं खर्चों की पूरी जानकारी होनी चाहिए, आपको अपने निवेश लक्ष्यों, अनुभव के स्तर एवं जोखिम के परिमाण पर सावधानी से विचार करना चाहिए, एवं जहां आवश्यकता हो वहाँ पेशेवर सलाह लेनी चाहिए।
फ्यूज़न मीडिया आपको याद दिलाना चाहता है कि इस वेबसाइट में मौजूद डेटा पूर्ण रूप से रियल टाइम एवं सटीक नहीं है। वेबसाइट पर मौजूद डेटा और मूल्य पूर्ण रूप से किसी बाज़ार या एक्सचेंज द्वारा नहीं दिए गए हैं, बल्कि बाज़ार निर्माताओं द्वारा भी दिए गए हो सकते हैं, एवं अतः कीमतों का सटीक ना होना एवं किसी भी बाज़ार में असल कीमत से भिन्न होने का अर्थ है कि कीमतें परिचायक हैं एवं ट्रेडिंग उद्देश्यों के लिए उपयुक्त नहीं है। फ्यूज़न मीडिया एवं इस वेबसाइट में दिए गए डेटा का कोई भी प्रदाता आपकी ट्रेडिंग के फलस्वरूप हुए नुकसान या हानि, अथवा इस वेबसाइट में दी गयी जानकारी पर आपके विश्वास के लिए किसी भी प्रकार से उत्तरदायी नहीं होगा।
फ्यूज़न मीडिया एवं/या डेटा प्रदाता की स्पष्ट पूर्व लिखित अनुमति के बिना इस वेबसाइट में मौजूद डेटा का प्रयोग, संचय, पुनरुत्पादन, प्रदर्शन, संशोधन, प्रेषण या वितरण करना निषिद्ध है। सभी बौद्धिक संपत्ति अधिकार प्रदाताओं एवं/या इस वेबसाइट में मौजूद डेटा प्रदान करने वाले एक्सचेंज द्वारा आरक्षित हैं।
फ्यूज़न मीडिया को विज्ञापनों या विज्ञापनदाताओं के साथ हुई आपकी बातचीत के आधार पर वेबसाइट पर आने वाले विज्ञापनों के लिए मुआवज़ा दिया जा सकता है।
इस समझौते का अंग्रेजी संस्करण मुख्य संस्करण है, जो अंग्रेजी संस्करण और हिंदी संस्करण के बीच विसंगति होने पर प्रभावी होता है।
© 2007-2024 - फ्यूजन मीडिया लिमिटेड सर्वाधिकार सुरक्षित