चेन्नई, 29 मई (आईएएनएस)। केंद्र सरकार द्वारा पेट्रोल और डीजल के उत्पाद शुल्क में कटौती किए जाने की घोषणा से नाराज पेट्रोल पंप मालिकों ने 31 मई को विरोध प्रदर्शन के लिए तेल कंपनियों ने ईंधन नहीं खरीदने का फैसला लिया है।तमिलनाडु पेट्रोलियम डीलर्स एसोसिएशन ने विज्ञप्ति में कहा है कि केंद्र सरकार की इस घोषणा के कारण डीलरों को तीन से 15 लाख रुपये की हानि हुई है। डीलरों ने केंद्र सरकार से कीमतों में तेजी से कमी करने का आग्रह किया था लेकिन कीमतों में अचानक कटौती करने से भारी क्षति हुई है।
दिवाली के दौरान ईंधन की कीमतों में कटौती की गई थी, लेकिन उस वक्त डीलरों को पेट्रोल का पांच दिन का भंडार और डीजल का चार दिन का भंडार रखने की सलाह दी गई थी।
एसोसिएशन का आरोप है कि डीलरों की मार्जिन में 2017 से कोई बदलाव नहीं किया गया है। अभी भी डीलरों को उतना ही मार्जिन मिल रहा है, जितना पेट्रोल के 60 रुपये प्रति लीटर रहने पर मिल रहा था।
अब पेट्रोल 100 रुपये प्रति लीटर से भी महंगा बिक रहा है और डीलर को अधिक रकम देनी पड़ रही है जबकि मार्जिन में कोई बदलाव नहीं किया गया है। यह डीलरों पर अतिरिक्त बोझ है।
एसोसिएशन ने कहा कि डीलरों के एक दिन के विरोध प्रदर्शन के कारण तेल विपणन कंपनियां अपने मासिक लक्ष्य को हासिल नहीं कर पाएंगी।
--आईएएनएस
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