नई दिल्ली, 1 फरवरी (आईएएनएस)। केन्द्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट में अध्यापकों के प्रशिक्षण पर बल दिया है। वित्त मंत्री ने कहा कि नवोन्मेषी शिक्षा विज्ञान, पाठ्यचर्चा संव्यवहार, सतत पेशेवर विकास, डिटस्टिक सर्वेक्षण और आईसीटी कार्यान्वयन के माध्यम से अध्यापकों के प्रशिक्षण को पुन परिकल्पित किया जाएगा। उन्होंने कहा कि इस उद्देश्य के लिए जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान को जीवंत उत्कृष्ट संस्थानों के रूप में तैयार किया जाएगा।बजट पेश करते हुए वित्त मंत्री ने कहा कि सरकार ने सबका साथ सबका विकास वाले दर्शन में समावेशी विकास को अपनाया गया है। केन्द्रीय बजट में सात प्राथमिकताएं अपनाई गई हैं जो एक-दूसरे का पूरक है और अमृत काल के दौरान हमारा मार्गदर्शन करते हुए सप्तर्षि की भांति कार्य करती हैं।
मंत्री ने बच्चों और किशोरों के लिए राष्ट्रीय डिजिटल पुस्तकालय के स्थापना की घोषणा की जिससे उन्हें गुणवत्तापूर्ण पुस्तकें, अलग-अलग इलाकों, भाषाओं, विषयों और स्तरों में विभिन्न उपकरणों के माध्यम से उपलब्ध कराई जा सके। उन्होंने बताया कि राज्यों को उनके लिए पंचायत तथा वार्ड स्तरों पर प्रत्यक्ष पुस्तकालय स्थापित करने और राष्ट्रीय डिजिटल पुस्तकालय संसाधनों तक पहुंच बनाने के लिए इन्फ्रास्ट्रक्च र उपलब्ध कराने के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा।
मंत्री ने यह भी बताया कि पढ़ने की संस्कृति को बढ़ाना देने के लिए और महामारी के समय की अधिगम क्षति को पूरा करने के लिए काम किया जा रहा। इसके लिए राष्ट्रीय पुस्तक न्यास, बाल पुस्तक न्यास विकसित किए जा रहे। विभिन्न स्रोतों को इन प्रत्यक्ष पुस्तकालयों में क्षेत्रीय भाषाओं तथा अंग्रेजी में पाठ्येतर विषयों की पुस्तकें उपलब्ध कराने और उनकी पुन: पूर्ति करने के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा। साक्षरता के क्षेत्र में कार्य करने वाले एनजीओ के साथ सहयोग भी इस पहल का हिस्सा होगा।
वित्तीय समझ लाने के लिए निर्मला सीतारमण ने कहा कि वित्तीय क्षेत्र विनियामकों और संगठनों को इन पुस्तकालयों में उम्र के हिसाब से उपयुक्त पठन सामग्री देने के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा।
केंद्रीय बजट में शिक्षा को दिए गए महत्व पर मेडलर्न के सह-संस्थापक दीपक शर्मा का कहना है कि बजट में 157 नसिर्ंग कॉलेजों की स्थापना और मौजूदा मेडिकल कॉलेजों के साथ संलग्न करना निश्चित रूप से एक स्वागत योग्य कदम है। यह शायद पहली बार है कि बजट में शिक्षकों के कौशल विकास और सामान्य रूप से शिक्षण की गुणवत्ता बढ़ाने की बात की गई है। पीएम कौशल विकास योजना के तहत, कोडिंग, एआई, रोबोटिक्स, मेक्ट्रोनिक्स, आईओटी, 3डी प्रिंटिंग, ड्रोन आदि जैसे नए दौर के पाठ्यक्रमों का कवरेज निश्चित रूप से नवीनतम की मांगों के अनुरूप देश में मानव संसाधन क्षमता की गुणवत्ता को बढ़ाएगा।
शर्मा का कहना है कि, हालांकि, देश में स्वास्थ्य शिक्षा में कमी और महामारी के दौरान हाल के अनुभव को देखते हुए, हम ऑनलाइन और चिकित्सा विशेषज्ञ शिक्षा और प्रशिक्षण प्रदाताओं के लिए बजट में वित्तीय और कर सब्सिडी की एक श्रृंखला के रूप में प्रोत्साहन की कामना करते हैं।
--आईएएनएस
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