पटना, 10 अगस्त (आईएएनएस)। आमतौर पर आपको रेलवे स्टेशनों और शहर की सड़कों पर गरीब बच्चे भटकते हुए नजर आते होंगे। अब इन भटक रहे लावारिस बच्चों को पढ़ाने के लिए रेलवे ने पहल की है। अब बच्चे 'अपन रेल पाठशाला' में क, ख, ग और ए, बी, सी, डी पढ़ेंगे। मुजफ्फरपुर रेल पुलिस अधीक्षक डॉ. कुमार आशीष ने बच्चों के लिए यह पहल की है।
उन्होंने आईएएनएस को बताया कि यह पाठशाला 15 अगस्त से प्रारंभ कर दिया जाएगा। जंक्शन और सड़कों के किनारे भटकने वाले लावारिस बच्चों को चिन्हित कर उसकी सूची तैयार की जा रही है।
उन्होंने बताया कि भटक रहे बच्चों को अगर सही माहौल नहीं मिलता है तो वे गलत संगत में पड़कर गलत रास्ता अख्तियार कर लेते हैं। जिस ढांचे में तैयार किया जाए, बच्चे उसी में ढल जाते हैं। अगर बच्चे अच्छी संगति में रहेंगे तो उनमें अच्छा गुण समाहित होगा और वह अच्छे कर्म करेंगे।
उन्होंने बताया कि इस पाठशाला का मुख्य उद्देश्य भटक रहे बच्चों को अच्छा इंसान बनाना है।
उल्लेखनीय है कि डॉ. कुमार आशीष किशनगंज और मोतिहारी में भी अपनी नियुक्ति के दौरान कई सामाजिक स्तर पर काम किया। यहां भी उन्होंने शिक्षा की पहल की थी।
आशीष कहते हैं कि बच्चों को बेसिक शिक्षा मिलनी चाहिए, यह उनका हक भी है। उनका मानना है कि जब बच्चे यहां आने लगेंगे तो वे स्कूल भी जाने लगेंगे।
--आईएएनएस
एमएनपी/एबीएम