iGrain India - नई दिल्ली । भारतीय खाद्य निगम (एफसीआई) द्वारा 17 जनवरी को आयोजित साप्ताहिक ई-नीलामी में 4.20 लाख टन गेहूं की रिकॉर्ड बिक्री की गई जो जून 2023 के अंतिम सप्ताह में शुरू हुई खुले बाजार बिक्री योजना (ओएमएसएस) में अब तक की सबसे बड़ी साप्ताहिक बिक्री रही। मालूम हो कि एफसीआई ने चालू सप्ताह के लिए इस योजना के तहत कुल 4.50 लाख टन गेहूं की बिक्री का ऑफर दिया था।
आधिकारिक सूत्रों के अनुसार मौजूदा ओएमएसएस के तहत खाद्य निगम द्वारा मिलर्स- प्रोसेसर्स (बल्क खरीदारों) को अब तक कुल मिलाकर 66.70 लाख टन गेहूं बेचा जा चुका है।
सरकार ने मार्च 2024 के प्रथम सप्ताह तक अपने अधिशेष स्टॉक में से 101 लाख टन गेहूं बेचने का प्लान बनाया है ताकि घरेलू प्रभाग में गेहूं तथा इसके उत्पादों की आपूर्ति एवं उपलब्धता बढ़ाने तथा कीमतों में तेजी पर अंकुश लगाने में सहायता मिल सके।
17 जनवरी 2024 को आयोजित साप्ताहिक ई-नीलामी में गेहूं का औसत खरीद मूल्य 2263 रुपए प्रति क्विंटल दर्ज किया गया जो 2128 रुपए प्रति क्विंटल के रिजर्व मूल्य से काफी ऊपर रहा। यह रिजर्व प्राइस 2125 रुपए प्रति क्विंटल के न्यूनतम समर्थन मूल्य के काफी निकट है।
खुले बाजार बिक्री योजना के तहत अधिक मात्रा का उठाव होने के कारण गेहूं की महंगाई दर नवम्बर के 6.36 प्रतिशत से घटकर सितम्बर में 4.69 प्रतिशत पर आ गई।
खाद्य निगम के सीएमडी ने हाल में कहा था कि ओएमएसएस की वजह से खुले बाजार में गेहूं की कीमतों को स्थिर रखने में सहायता मिली है।
उनका कहना था कि मार्च के मध्य तक गेहूं की बिक्री जारी रखी जा सकती है। इसके परिणामस्वरूप 1 अप्रैल को सरकारी गोदामों में गेहूं का कुल स्टॉक घटकर 74.60 लाख टन के न्यूनतम अनिवार्य स्तर के आसपास आ सकता है।
16 जनवरी 2024 को केन्द्रीय पूल में कुल 151.40 लाख टन गेहूं का स्टॉक मौजूद था जो न्यूनतम आवश्यक बफर मात्रा 138 लाख टन से ज्यादा मगर वर्ष 2016 के बाद का सबसे निचला स्तर था। अप्रैल से गेहूं की सरकारी खरीद विधिवत आरंभ हो जाएगी।