💎 आज के बाजार में सबसे स्वस्थ कंपनियों को देखेंशुरू करें

सोयाबीन तेल एवं सरसों की कीमतों में सीमित उतार-चढ़ाव जारी रहने की संभावना

प्रकाशित 15/02/2024, 11:43 pm
सोयाबीन तेल एवं सरसों की कीमतों में सीमित उतार-चढ़ाव जारी रहने की संभावना

iGrain India - नई दिल्ली । सोयाबीन के तीनों शीर्ष उत्पादक प्रांतों- मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र तथा राजस्थान में सोया रिफाइंड तेल का भाव पिछले कुछ समय से नरम बना हुआ है लेकिन आगे इसमें ज्यादा गिरावट आने की संभावना नहीं हैं।

हालांकि वैश्विक बाजार में सोयाबीन तेल का भाव पिछले दिन कुछ मजबूत हुआ था क्योंकि ब्राजील में सोयाबीन का उत्पादन  अनुमान घटाकर 15 करोड़ टन से नीचे निर्धारित किया गया था लेकिन भारतीय बाजार पर इसका कोई खास असर नहीं पड़ा।

इसका कारण यह है कि देश में पूर्व में आयातित सस्ते सोया तेल का भारी-भरकम स्टॉक मौजूद है जबकि स्वदेशी उत्पादन भी सामान्य बना हुआ है। इसके अलावा सोया रिफाइंड तेल की घरेलू मांग भी अपेक्षाकृत कमजोर है। केन्द्र सरकार खाद्य तेलों का भाव निचले स्तर पर स्थिर रखने के लिए हर संभव प्रयास कर रही है। 

सोयाबीन की औसत दैनिक आवक 2.50-3.00 लाख बोरी (100 किलो की प्रत्येक बोरी) हो रही है और इसका दाम न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) से नीचे चल रहा है।

लूज में इसका दाम 4400/4600 रुपए प्रति क्विंटल तथा प्लांट डिलीवरी भाव 4600/4800 रुपए प्रति क्विंटल चल रहा है। प्रमुख निर्यातक देशों और खासकर ब्राजील तथा अमरीका में सोया तेल का अच्छा खासा स्टॉक मौजूद है जबकि अर्जेन्टीना में अगले महीने से सोयाबीन की नई फसल की कटाई-तैयारी जोर पकड़ने पर स्टॉक में बढ़ोत्तरी का सिलसिला शुरू हो जाएगा।

वहां इस बार सोयाबीन का शानदार उत्पादन होने की उम्मीद है। भारत में सोयाबीन तेल का आयात बढ़ने लगा है इसलिए आगे दिनों में इसकी आपूर्ति एवं उपलब्धता की स्थिति सुगम की रहेगी और कीमतों में ज्यादा उतार-चढ़ाव नहीं आएगा। 

जहां तक सरसों की बात है तो इसकी कीमत पहले ही घटकर काफी नीचे आ चुकी है। न्यूनतम समर्थन मूल्य पर इसकी सरकारी खरीद अगले महीने से शुरू होने की संभावना है।

प्रमुख उत्पादक राज्यों की महत्वपूर्ण मंडियों में करीब 4.00-4.50 लाख बोरी (50 किलो की प्रत्येक बोरी) सरसों की औसत दैनिक आवक हो रही है जबकि क्रशिंग इकाइयों की मांग कमजोर है। 42 प्रतिशत कंडीशन वाली सरसों का दाम भी दिल्ली में 5300/5400 रुपए प्रति क्विंटल तथा जयपुर में 5400/5425 रुपए प्रति क्विंटल बताया जा रहा है।

केन्द्र सरकार ने सरसों का न्यूनतम समर्थन मूल्य 2022-23 सीजन के 5450 रुपए प्रति क्विंटल से 200 रुपए बढ़ाकर 2023-24 सीजन के लिए 5650 रुपए प्रति क्विंटल निर्धारित किया है। इसी तरह सोयाबीन का समर्थन मूल्य 4300 रुपए प्रति क्विंटल से 300 रुपए बढ़ाकर 4600 रुपए प्रति क्विंटल नियत किया गया है।

नवीनतम टिप्पणियाँ

हमारा ऐप इंस्टॉल करें
जोखिम प्रकटीकरण: वित्तीय उपकरण एवं/या क्रिप्टो करेंसी में ट्रेडिंग में आपके निवेश की राशि के कुछ, या सभी को खोने का जोखिम शामिल है, और सभी निवेशकों के लिए उपयुक्त नहीं हो सकता है। क्रिप्टो करेंसी की कीमत काफी अस्थिर होती है एवं वित्तीय, नियामक या राजनैतिक घटनाओं जैसे बाहरी कारकों से प्रभावित हो सकती है। मार्जिन पर ट्रेडिंग से वित्तीय जोखिम में वृद्धि होती है।
वित्तीय उपकरण या क्रिप्टो करेंसी में ट्रेड करने का निर्णय लेने से पहले आपको वित्तीय बाज़ारों में ट्रेडिंग से जुड़े जोखिमों एवं खर्चों की पूरी जानकारी होनी चाहिए, आपको अपने निवेश लक्ष्यों, अनुभव के स्तर एवं जोखिम के परिमाण पर सावधानी से विचार करना चाहिए, एवं जहां आवश्यकता हो वहाँ पेशेवर सलाह लेनी चाहिए।
फ्यूज़न मीडिया आपको याद दिलाना चाहता है कि इस वेबसाइट में मौजूद डेटा पूर्ण रूप से रियल टाइम एवं सटीक नहीं है। वेबसाइट पर मौजूद डेटा और मूल्य पूर्ण रूप से किसी बाज़ार या एक्सचेंज द्वारा नहीं दिए गए हैं, बल्कि बाज़ार निर्माताओं द्वारा भी दिए गए हो सकते हैं, एवं अतः कीमतों का सटीक ना होना एवं किसी भी बाज़ार में असल कीमत से भिन्न होने का अर्थ है कि कीमतें परिचायक हैं एवं ट्रेडिंग उद्देश्यों के लिए उपयुक्त नहीं है। फ्यूज़न मीडिया एवं इस वेबसाइट में दिए गए डेटा का कोई भी प्रदाता आपकी ट्रेडिंग के फलस्वरूप हुए नुकसान या हानि, अथवा इस वेबसाइट में दी गयी जानकारी पर आपके विश्वास के लिए किसी भी प्रकार से उत्तरदायी नहीं होगा।
फ्यूज़न मीडिया एवं/या डेटा प्रदाता की स्पष्ट पूर्व लिखित अनुमति के बिना इस वेबसाइट में मौजूद डेटा का प्रयोग, संचय, पुनरुत्पादन, प्रदर्शन, संशोधन, प्रेषण या वितरण करना निषिद्ध है। सभी बौद्धिक संपत्ति अधिकार प्रदाताओं एवं/या इस वेबसाइट में मौजूद डेटा प्रदान करने वाले एक्सचेंज द्वारा आरक्षित हैं।
फ्यूज़न मीडिया को विज्ञापनों या विज्ञापनदाताओं के साथ हुई आपकी बातचीत के आधार पर वेबसाइट पर आने वाले विज्ञापनों के लिए मुआवज़ा दिया जा सकता है।
इस समझौते का अंग्रेजी संस्करण मुख्य संस्करण है, जो अंग्रेजी संस्करण और हिंदी संस्करण के बीच विसंगति होने पर प्रभावी होता है।
© 2007-2024 - फ्यूजन मीडिया लिमिटेड सर्वाधिकार सुरक्षित