iGrain India - मुम्बई। केंद्र सरकार द्वारा एथनॉल निर्माण में महज 17 लाख टन चीनी के समतुल्य गन्ना के उपयोग की अनुमती दिए जाने से इसका उत्पादन घटने की आशंका पैदा होने के बाद अनाज पर आधारित डिफ्टीलरीज में मक्का से एथनॉल उत्पादन बढ़ाने का प्रयास किया जा रहा है। सरकार ने पेट्रोल में एथनॉल का मिश्रण बढ़ाने का निर्णय किया है। 2013-14 में पेट्रोल में केवल 1.53 प्रतिशत एथनॉल का मिश्रण हुआ था जो बढ़कर 2021-22 में 10 प्रतिशत एवं 2022-23 में 12.1 प्रतिशत पर पहुंच गया। सरकार ने पेट्रोल में एथनॉल के मिश्रण का लक्ष्य 2024-25 तक बढ़कर 20 प्रतिशत और 2029-30 तक बढ़कर 30 प्रतिशत तक पहुंचाने का रखा है।
वर्तमान समय में डिफ्टीलरीज टॉप तेल विपणन कम्पनियो को करीब 494 करोड़ लीटर एथनॉल की वार्षिक आपूर्ति की जा रही है जबकि 2024-25 तक मिश्रण के नियत लक्ष्य को हासिल करने के लिए 1016 करोड़ लीटर एथनॉल की आवश्यकता पड़ेगी । अभी मुख्यतः गन्ना जूस, शिरा एवं
चावल से एथनॉल का निर्माण हो रहा है मगर अब इसमें मक्का का इस्तेमाल बढ़ाया जा रहा है। इस बार मक्का के घरेलू उत्पादन में कमी आने की संभावना है जबकि इसकी मांग एवं खपत बढ़ने के आसार है। इससे कीमतों का स्तर ऊंचा रह सकता है।