iGrain India - नई दिल्ली । चालू सप्ताह के दौरान लालमिर्च की कीमतें मजबूती के साथ बोली गई है। सूत्रों का कहना है कि ग्रीष्मकालीन अवकाश के कारण लालमिर्च की प्रमुख मंडी गुन्टूर 11 मई - 2024 से 10 जून - 2024 तक बंद होने के कारण चालू सप्ताह में लिवाली अच्छी रही।
जानकार सूत्रों का कहना है कि गुंटूर मंडी बंद होने के कारण खपत केन्द्रों पर लालमिर्च की सप्लाई प्रभावित रहेगी। जिस कारण से खपत केन्द्रों पर लालमिर्च के भाव बढ़ने की संभावना है।
वर्तमान में उत्पादक केन्द्रों की मंडियों में किसानी माल की जो आवक हो रही है उसकी क्वालिटी काफी हल्की है। जिस कारण से निर्यात का व्यापार कोल्ड के मालों का हो रहा है जिस कारण से गुंटूर मंडी में लालमिर्च तेजा का भाव बढ़कर 205 रुपए हो गया है।
जबकि चालू सप्ताह के शुरू में भाव 200 रुपए खुला था। खम्मम मंडी में लालमिर्च तेजा का भाव सप्ताह के अंत में 211 रुपए बोला गया। जोकि सप्ताह के शुरू में 202 रुपए बोला जा रहा था।
हल्के मालों की आवक होने के अलावा वारंगल में तेजा का भाव 170/171 रुपए पर बोला गया। हाजिर में कमजोर मांग के कारण दिल्ली बाजार में भाव दबे रहे।
उत्पादन अधिक
चालू सीजन के दौरान देश में लालमिर्च का उत्पादन अधिक होने के कारण लालमिर्च के भाव गत वर्ष की तुलना में कम चल रहे हैं। उल्लेखनीय है कि प्रमुख उत्पादक राज्य आंध्र प्रदेश में इस वर्ष लालमिर्च का उत्पादन लगभग 2 करोड़ बोरी (प्रत्येक बोरी 45 किलो) होने के समाचार है। जबकि गत वर्ष उत्पादन 1.50 करोड़ बोरी के आसपास रहा था। तेलंगाना में भी उत्पादन गत वर्ष के 55/60 लाख बोरी से बढ़कर 80/85 लाख बोरी होने के अनुमान लगाए जा रहे हैं।
आवक घटी
कुल उत्पादन का 75/80 प्रतिशत माल मंडियों में आ जाने के कारण वर्तमान में मंडियों में आवक घटने लगी है। प्रमुख मंडी गुंटूर में आवक बढ़कर 45/50 हजार बोरी की रह गई है। जबकि खम्मम में आवक 10/15 हजार बोरी की हो रही है। वारंगल में भी आवक 10/12 हजार बोरी की रह गई है।
भाव गत वर्ष से कम
वर्तमान में उत्पादक केन्द्रों की मंडियों पर लालमिर्च के भाव गत वर्ष की तुलना में कम चल रहे हैं। गत वर्ष मई माह के शुरू में गुंटूर मंडी में लालमिर्च तेजा का भाव 240 रुपए चल रहा था जोकि वर्तमान में 205 रुपए बोला जा रहा है। खम्मम मंडी में गत वर्ष लालमिर्च तेजा का भाव 238 रुपए चल रहा था जबकि वर्तमान में भाव 211 रुपए बोला जा रहा। वारंगल में गत वर्ष तेजा का भाव 224 रुपए चल रहा था वर्तमान में भाव 170/171 रुपए बोला जा रहा है।
स्टॉक अधिक
अधिक पैदावार के कारण इस वर्ष उत्पादक केन्द्रों की मंडियों पर लालमिर्च का स्टॉक अधिक हुआ है। एक अनुमान के अनुसार गत वर्ष गुंटूर मंडी में लालमिर्च का स्टॉक 45/50 लाख बोरी का हुआ था जोकि इस वर्षा लगभग 65/70 लाख बोरी होने के समाचार है। इसके अलावा तेलंगाना में इस वर्ष स्टॉक 40/42 लाख बोरी माना जा रहा है जबकि गत वर्ष स्टॉक 25/30 लाख बोरी का रहा था।
तेजी की संभावना
जानकार सूत्रों का कहना है कि लालमिर्च की वर्तमान कीमतों में अब मंदे की संभावना नहीं है। क्योंकि अधिक पैदावार का मंदा बाजार में आ चुका है अब मंडियों में आवक भी कम रहेगी। इसके अलावा मध्य प्रदेश में इस वर्ष लालमिर्च की बिजाई का क्षेत्रफल घटने की संभावना है। मध्य प्रदेश में लालमिर्च की बिजाई का कार्य जून माह में शुरू हो जाएगा और अक्टूबर-नवम्बर में अन्य मालों की आवक शुरू हो जाएगी।
निर्यात
बांग्लादेश एवं चीन की अच्छी मांग बनी रहने के कारण चालू सीजन के दौरान लालमिर्च निर्यात में वृद्धि दर्ज की गई है। मसाला बोर्ड द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार कहलू वित्त वर्ष के प्रथम 10 माह अप्रैल-जनवरी- 2024 के दौरान लालमिर्च का निर्यात 425199.9 टन का किया गया। जबकि गत वर्ष अप्रैल-जनवरी 2023 के दौरान 378183.71 टन का निर्यात किया गया था। वर्ष 2022-23 (अप्रैल- 22- मार्च 2023) के दौरान लालमिर्च का कुल निर्यात 516184.91 टन का रहा था। जबकि वर्ष 2021-22 में निर्यात 557148.98 टन का हुआ था।