iGrain India - नई दिल्ली । हालांकि खुले बाजार बिक्री योजना (ओएमएसएस) के तहत गेहूं की साप्ताहिक ई-नीलामी शुरू करने का सरकार ने कोई संकेत नहीं दिया है और न ही गेहूं के आयात को शुल्क मुक्त करने के मिलर्स-प्रोसेसर्स की मांग पर सकारात्मक रवैया है जिससे उद्योग- व्यापार क्षेत्र चिंतित और परेशान है लेकिन उसने सभी उम्मीद नहीं छोड़ी है। पिछले दिन सहकारिता मंत्री की अध्यक्ष में मंत्रियों की समिति की एक बैठक में गेहूं बाजार एवं स्टॉक की समीक्षा की गई और इसकी कीमतों पर गहरी नजर रखने की जरूरत पर जोर दिया गया। गेहूं एवं इसके उत्पादों का भाव ऊंचे स्तर पर चल रहा है।
दिल्ली
15-21 जून वाले सप्ताह के दौरान दिल्ली में यूपी / राजस्थान के गेहूं का दाम 25 रुपए सुधरकर 2685/2690 रुपए प्रति क्विंटल पर पहुंच गया। पिछले कुछ सप्ताहों से वहां गेहूं में तेजी जारी है। दिल्ली में 4000 से 7000 बोरी के बीच गेहूं की दैनिक आवक दर्ज की गई।
गुजरात / मध्य प्रदेश
गुजरात और मध्य प्रदेश की अधिकांश मंडियों में सीमित कारोबार एवं कम आवक के कारण गेहूं का भाव पुराने स्तर पर स्थिर रहा मगर डबरा में 50 रुपए तथा हरदा में 75 रुपए बढ़कर क्रमश: 2600/2700 रुपए प्रति क्विंटल तथा 2480/2625 रुपए प्रति क्विंटल पर पहुंच गया। दूसरी ओर इटारसी में दाम 10 रुपए नीचे गिर गया।
राजस्थान
राजस्थान में गेहूं का दाम कोटा में स्थिर रहा मगर बारां में 25 रुपए सुधरकर 2550/2725 रुपए प्रति क्विंटल और बूंदी में 40 रुपए बढ़कर 2500/2640 रुपए पर पहुंच गया। उत्तर प्रदेश की मंडियों में गेहूं के दाम में कुछ उतार-चढ़ाव आया। वहां इसका दाम हरदोई में 30 रुपए गिरकर 2420 रुपए प्रति क्विंटल रह गया मगर शाहजहांपुर, सीतापुर, गोरखपुर, गोंडा, मैनपुरी एवं एटा में भाव 10 से 50 रुपए प्रति क्विंटल तक बढ़ गया। महाराष्ट्र की जालना मंडी में गेहूं का मूल्य 100 रुपए की वृद्धि के साथ 2375/3400 रुपए प्रति क्विंटल पर पहुंचा।
भाव
तमाम प्रमुख मंडियों में गेहूं का भाव सरकार द्वारा घोषित न्यूनतम समर्थन मूल्य 2275 रुपए प्रति क्विंटल से ऊपर चल रहा है। सरकार की इस पर नजर तो है लेकिन वह आपूर्ति बढ़ाने के लिए अपने स्टॉक की निकासी का निर्णय लेने से हिचक रही है क्योंकि गत वर्ष के मुकाबले इस बार केन्द्रीय पूल के लिए गेहूं की खरीद में 4 लाख टन से भी कम की बढ़ोत्तरी हुई है।