iGrain India - मुम्बई । केन्द्र सरकार द्वारा 2 जून 2023 को तुवर (अरहर) तथा उड़द पर भंडारण सीमा लागू की गई थी और उसके बाद से अब तक इसके थोक बाजार मूल्य में 100 से 650 रुपए प्रति क्विंटल की भारी गिरावट आ चुकी है।
म्यांमार में भी तुवर का निर्यात ऑफर मूल्य इस अवधि में 1270 डॉलर प्रति टन से 30 डॉलर घटकर 1240 डॉलर प्रति टन पर आ गया।
समीक्षाधीन अवधि के दौरान लातूर में तुवर का भाव मारुति (NS:MRTI) के लिए 10500 रुपए से घटकर 10,100 रुपए प्रति क्विंटल, पिंक के लिए 10,400 रुपए से घटकर 10,050 रुपए प्रति क्विंटल, निर्मल के लिए 9700 रुपए से गिरकर 9500 रुपए प्रति क्विंटल तथा सफेद तुवर के लिए 10,300 रुपए से गिरकर 10,100 रुपए प्रति क्विंटल पर आ गया। अकोला मंडी में तुवर का दाम 10,750 रुपए से 650 रुपए लुढ़ककर 10,100 रुपए प्रति क्विंटल रह गया।
कर्नाटक के गुलबर्गा में तुवर का मूल्य पिंक के लिए 10,200 रुपए से फिसलकर 10,100 रुपए प्रति क्विंटल तथा मारुति के लिए 10,400 रुपए से गिरकर 10,200 रुपए प्रति क्विंटल पर आ गया।
मुम्बई में लेमन तुवर का भाव 9950 रुपए से घटकर 9550 रुपए प्रति क्विंटल, गजरी का 8800 रुपए से घटकर 8400 रुपए प्रति क्विंटल, सूडान का 10,200 रुपए से 550 रुपए लुढ़ककर 9650 रुपए प्रति क्विंटल, मलावी का 8650 रुपए से घटकर 8250 रुपए प्रति क्विंटल, मटवारा का 8700 रुपए से घटकर 8350 रुपए प्रति क्विंटल और मोजाम्बिक सफेद तुवर का भाव 8900 रुपए से 450 रुपए लुढ़ककर 8450 रुपए प्रति क्विंटल रह गया।
एक तो सरकार काफी सख्ती बरत रही है और दूसरे, अफ्रीकी देशों में अगले कुछ सप्ताहों में तुवर के नए माल की आवक शुरू होने वाली है। इससे घरेलू बाजार में इस महत्वपूर्ण दलहन की कीमतों पर दबाव बढ़ गया है।