iGrain India - नई दिल्ली । अफ्रीकी देश- मोजाम्बिक की राजधानी मापुटो स्थित भारतीय उच्चायुक्त ने मोजाम्बिक से भारत में अरहर (तुवर) के सभी निर्यातकों को सूचित किया है कि भारत के केन्द्रीय- खाद्य, उपभोक्ता मामले एवं सार्वजनिक वितरण मंत्रालय ने यह पूरी तरह स्पष्ट कर दिया है कि भारत में 31 मार्च 2024 तक खुले बाजार सामान्य लाइसेंस (ओजीएल) या मुक्त श्रेणी के अंतर्गत अरहर (तुवर) का आयात जारी रहेगा।
उड़द का आयात भी इसी श्रेणी में शामिल है। भारत सरकार द्वारा तुवर का आयात बिना किसी मात्रात्मक नियंत्रण के बिल्कुल मुक्त रूप से किया जाएगा या फिर भारत और मोजाम्बिक के बीच हुए द्विपक्षीय समझौते (एमओयू) के तहत आयात के लिए निर्धारित नियमों- प्रावधानों के अनुरूप किया जाएगा।
मोजाम्बिक से तुवर दाल का शिपमेंट करने वाले निर्यातक 31 मार्च 2024 तक किसी ऊपरी सीमा के बगैर भारत को इसका निर्यात कर सकते हैं। मोजाम्बिक से भारत को तुवर के शिपमेंट पर कोई आयात शुल्क लागू नहीं है।
मापुटो (मोजाम्बिक) में भारत के उच्चायोग ने आगे कहा है कि भारत सरकार ने पहले मोजाम्बिक से कम से कम 2 लाख टन तुवर खरीदने का जो समझौता किया था और जिसका नवीनीकरण नवम्बर 2020 में हुआ था उसकी अब कोई सार्थकता या प्रासंगिकता नहीं रह गई है क्योंकि इसके मुक्त आयात की नीति लागू हो गई है और 31 मार्च 2021 तक इससे अधिक मात्रा में भी तुवर का आयात किया जा सकता है।
पहले तुवर के आयात पर 10 प्रतिशत का सीमा शुल्क लागू था लेकिन भारत सरकार 3 मार्च 2023 को उसे भी वापस ले लिया। अब देश में शुल्क मुक्त एवं नियंत्रण मुक्त तुवर का आयात हो रहा है। सीमा शुल्क लागू होने से भारतीय आयातकों को कठिनाई हो रही थी।
उन्हें शुल्क मुक्त प्रिफरेंशियल संधि (डीएफपीटी) का लाभ हासिल करने हेतु मूल निर्यातक देश का प्रमाण पत्र दिखाने की आवश्यकता पड़ती थी मगर अब यह बाधा समाप्त हो गई है क्योंकि अब तुवर पर कोई आयात शुल्क ही लागू नहीं है।