iGrain India - पुणे । महाराष्ट्र की चीनी मिलों में गन्ना की क्रशिंग इस बार करीब एक माह की देर से आरंभ होने की संभावना है क्योंकि अगस्त में वर्षा का भारी अभाव होने से फसल का ठीक से विकास नहीं हो पाया है।
सामान्यतः देश में अक्टूबर से गन्ना की क्रशिंग शुरू होकर अप्रैल तक जारी रहती है। महाराष्ट्र के गन्ना एवं चीनी आयुक्त ने मिलर्स से क्रशिंग में जल्दबाजी नहीं दिखाने तथा फसल के पूरी तरह परिपक्व होने पर ही उसकी कटाई करवाने के लिए कहा है।
इसके फलस्वरूप चीनी मिलों में गन्ना की पेराई अब नवम्बर के प्रथम सप्ताह में ही आरंभ होने की उम्मीद है। बम्बई शुगर मर्चेंट्स एसोसिएशन के सचिव का कहना है कि गन्ना की फसल को मैच्योर होने में अभी काफी समय लगेगा।
उत्तर प्रदेश के बाद गन्ना का सर्वाधिक उत्पादन महाराष्ट्र में ही होता है लेकिन इस वर्ष अगस्त में वहां बहुत कम वर्षा हुई जिससे गन्ना की फसल का विकास प्रभावित हुआ। चालू माह के दौरान वहां अच्छी बारिश होने की संभावना व्यक्त की गई है जिससे फसल की हालत में कुछ सुधार आने के आसार हैं। वर्षा से गन्ना में चीनी (सुक्रोज) का अंश भी बढ़ जाएगा।
व्यापार विश्लेषकों के अनुसार के अनुसार आमतौर पर महारष्ट्र में दीपावली के बाद श्रमिकों की संख्या बढ़ती है लेकिन चूंकि इस बार यह त्यौहार देरी से मनाया जाएगा इसलिए अक्टूबर में गन्ना फसल की कटाई एवं पेराई के लिए मजदूरों का अभाव रह सकता है।
12 नवम्बर को इस बार दीपावली मनाई जाएगी जबकि पिछले साल 24 अक्टूबर को मनाई गई थी। गन्ना की क्रशिंग में विलम्ब होने से चीनी का भाव ऊंचा रहने की संभावना है। उद्योग के पास चीनी का मौजूदा स्टॉक भी गत वर्ष से कम है जबकि त्यौहारी सीजन की अच्छी मांग निकलने की संभावना है।