iGrain India - नई दिल्ली । चूंकि दाल-दलहन का बाजार भाव ऊंचे स्तर पर ही मौजूद है इसलिए सरकार ने अरहर (तुवर) एवं उड़द पर लागू भंडारण सीमा (स्टॉक लिमिट) की अवधि अक्टूबर से आगे बढ़ाने का फैसला किया है।
जानकारों का कहना है कि घरेलू उत्पादन में गिरावट की संभावना तथा विदेशों से सुस्त आयात को देखते हुए सरकार तुवर-उड़द पर स्टॉक सीमा के आदेश को अभी वापस लेने के मूड में नहीं है। जून में भंडारण सीमा 31 अक्टूबर तक के लिए लागू हुई थी जबकि अब इसकी अवधि कम से कम तीन माह और आगे बढ़ाई जा सकती है।
उपभोक्ता मामले विभाग के अनुसार चालू वर्ष के आरंभ की तुलना में अब तुवर दाल का मॉडल खुदरा मूल्य 45 प्रतिशत उछलकर 160 रुपए प्रति किलो और कई केन्द्रों में 170 रुपए प्रति किलो पर पहुंच गया है।
इसी तरह उड़द दाल का मॉडल मूल्य छह माह पूर्व की तुलना में 10 प्रतिशत बढ़कर अब 110 रुपए प्रति किलो हो गया है। उल्लेखनीय है कि सरकार ने स्टॉक धारिता सीमा होल सेलर्स के लिए 200 टन, खुदरा कारोबारियों के लिए 5 टन, बिग चेन रिटेलर्स के प्रत्येक आउट लेट के लिए 5 टन एवं डिपो के लिए 200 टन नियत कर रखा है।
जहाँ तक आयातकों का सवाल है तो उनको कस्टम क्लीयरेंस मिलने के बाद 30 दिनों के अंदर अपने आयातित स्टॉक को घरेलू मंडियों में उतारने या बेचने के लिए कहा गया है।
महाराष्ट्र की लातूर मंडी में तुवर साबुत का भाव फिलहाल 11,500 रुपए प्रति क्विंटल के करीब चल रहा है जो वर्ष 2016 के बाद का सबसे ऊंचा स्तर है। ज्ञात हो कि 2023-24 के मार्केटिंग सीजन हेतु तुवर का न्यूनतम समर्थन मूल्य 7000 रुपए प्रति क्विंटल नियत हुआ है।