iGrain India - खारकीव । रूस द्वारा काला सागर क्षेत्र में यूक्रेन से जहजों के आवागमन पर सुरक्षा की गारंटी देने से इंकार किए जाने के बाद इसका आना जाना बंद हो गया था लेकिन 16 सितम्बर को अचानक इसी मार्ग से दो जहाज यूक्रेन के चोर्नोमोर्स्क बंदरगाह पर पहुंचा जिससे सबको हैरानी हुई और साथ ही यह उम्मीद भी जगी कि आगामी समय में यूक्रेन से इस रास्ते कृषि उत्पादों का निर्यात शिपमेंट संभव हो सकता है।
ये दोनों माल वाहक जहाज है जिसे काला सागर क्षेत्र में रोकने का कोई प्रयास नहीं किया गया। इससे प्रतीत होता है कि रूस के तेवर कुछ नरम पड़ गए हैं। यूक्रेन को आशा है कि बहादुर कप्तान (जहाजों के) तीनों बंदरगाहों से अनाज का निर्यात शिपमेंट दोबारा शुरू करने में मदद कर सकते हैं।
यूक्रेन के अनाज उत्पादकों को पिछले दो महीनों से काला सागर क्षेत्र के बंदरगाहों से निर्यात शिपमेंट बंद रहने के कारण भारी कठिनाई हो रही थी और अपना उत्पाद काफी नीचे दाम पर बेचने के लिए विवश होना पड़ रहा था। चोर्नोमोर्स्क बंदरगाह पर आने वाले दोनों जहाज विशाल आकार के तो नहीं है लेकिन कम से कम इससे यह संकेत तो अवश्य मिल रहा है कि रुस की नाकाबंदी ज्यादा सख्त नहीं है।
यूक्रेन के बुनियादी ढांचा मंत्री ने जहाजों के आने पर प्रसन्नता व्यक्त करते हुए कहा था कि रुसी धमकी के बाद यह पहला सिविलियन जहाज है जिसने यूक्रेनी बंदरगाह तक पहुंचने के लिए अस्थायी कोरीडोर का इस्तेमाल किया।
फिलहाल ये दोनों जहाज चोर्नोमोर्स्क बंदरगाह पर ही लंगर डाले हुए हैं। अधिकारियों का कहना है कि इन जहाजों के कप्तान भी जहाजों के आवागमन को शुरू करने का प्रयास कर सकते हैं।