iGrain India - गंगटोक । त्यौहारी सीजन के दौरान बड़ी इलायची का भाव कुछ ऊंचा हुआ है और इसकी नई फसल की तुड़ाई-तैयारी का पहला चरण समाप्त हो चुका है। पहली तुड़ाई वाली फसल की क्वालिटी कुछ कमजोर रहती है। इसका माल अब तक बाजार में उपलब्ध है।
अक्टूबर के अंतिम या नवम्बर के प्रथम सप्ताह में दूसरे दौर की तुड़ाई-तैयारी आरंभ होने की उम्मीद है और इसके नए माल की आवक शुरू होने पर बाजार में कारोबार बढ़ने के आसार हैं।
बड़ी इलायची का भाव कुछ मजबूत हो सकता है क्योंकि आगे अच्छी क्वालिटी के माल की आवक ज्यादा होगी। इसके अलावा मौसम एवं वर्षा की फसल के लिए पूरी तरह अनुकूल नहीं होने से उत्पादन में भी कमी आने की संभावना है।
बड़ी इलायची का उत्पादन मुख्यत: सिक्किम, मेघालय एवं आसाम में होता है। गंगटोक एवं सिंहडोह में इसके नीलामी केन्द्र हैं। पहली फसल की तुड़ाई कम हुई जिससे इसकी कीमतों को ऊपर उठने का अवसर मिल गया।
दूसरी फसल की हालत इससे कुछ बेहतर रहने की उम्मीद है। 12 अक्टूबर को हुई नीलामी में बड़ी (काली) इलायची का औसत भाव 850 से 1220 रुपए प्रति किलो तक दर्ज किया गया। भारत के अलावा नेपाल और भूटान में भी बड़ी इलायची का उत्पादन होता है।
भारत में इन दोनों देशों से इसका आयात किया जाता है। मसाला बोर्ड के आंकड़ों से पता चलता है कि चालू वित्त वर्ष के आरंभिक चार महीनों में यानी अप्रैल-जुलाई 2023 के दौरान देश से 353.37 टन काली इलायची का निर्यात हुआ जो गत वर्ष की समान अवधि के शिपमेंट 633.60 टन से काफी कम है। समीक्षाधीन अवधि में बड़ी इलायची की निर्यात आय भी 49.96 करोड़ रुपए से घटकर 24.26 करोड़ रुपए रह गई।