जयपुर, 2 अगस्त (आईएएनएस)। कांग्रेस से बर्खास्त मंत्री राजेंद्र सिंह गुढ़ा ने बुधवार को यहां लाल डायरी के तीन पन्ने जारी किए और दावा किया कि इसमें सीएम के बेटे और आरसीए के बीच लेनदेन का उल्लेख है। उन्होंने सरकार पर उन्हें 'ब्लैकमेल' करने का भी आरोप लगाया।गुढ़ा पिछले कुछ समय से मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और अन्य मंत्रियों पर हमलावर रहे हैं। एक संवाददाता सम्मेलन में उन्होंने दावा किया कि डायरी में धर्मेंद्र राठौड़ की लिखावट है, जो कांग्रेस के दिग्गज नेता और मुख्यमंत्री के करीबी हैं।
उन्होंने कहा, ''डायरी में राजस्थान क्रिकेट एसोसिएशन (आरसीए) के लेन-देन कोड वर्ड में हैं और मुख्यमंत्री के सचिव तथा उनके बेटे वैभव गहलोत के बारे में भी बातें लिखी गई हैं।''
जारी किए गए पृष्ठों के मुख्य बिंदु इस प्रकार हैं:
"वैभव जी और मैंने आरसीए चुनाव खर्चों पर चर्चा की, कैसे भवानी सामोता तय करने के बाद भी सार्वजनिक पैसा नहीं दे रहे हैं... .भवानी सामोता ने अधिकांश लोगों से किया हुआ वादा पूरा नहीं किया है... मैंने कहा कि यह ठीक नहीं है ... तो भवानी सामोता ने कहा कि मैं इसे सीपी साहब के संज्ञान में रखूंगा... फिर मैं आपको 31 जनवरी तक बताऊंगा...।''
(भवानी सामोता पूर्व आरएएस और आरसीए के वर्तमान सचिव हैं। ऐसा दावा किया जाता है कि वह विधानसभा अध्यक्ष डॉ. सी.पी. जोशी के करीबी हैं। वैभव गहलोत वर्तमान आरसीए अध्यक्ष हैं।)
उन्होंने दावा किया कि इसमें कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और आरटीडीसी के चेयरमैन धर्मेंद्र राठौड़ की लिखावट है और कहा कि वह इस डायरी के पन्नों के बारे में खुलासे करते रहेंगे। उन्होंने घोषणा की ''अगर मैं जेल गया तो मेरे भरोसेमंद व्यक्ति इन पन्नों को आप तक भेजते रहेंगे।''
गुढ़ा ने कहा कि आज दिखाए गए पन्नों में आरसीए के भ्रष्टाचार और लेन-देन का स्पष्ट उल्लेख है।
पूर्व मंत्री ने कहा, ''मैं सरकार को ब्लैकमेल नहीं कर रहा हूं, बल्कि सरकार मुझे ब्लैकमेल कर रही है और रंधावा ने मुझ पर माफी मांगने का दबाव भी डाला था।'' उन्होंने आगे कहा, ''मैं इस डायरी को विधानसभा में रखना चाहता था ताकि सभी तथ्य आधिकारिक तौर पर सामने आ जाएं।''
मंत्री पद से बर्खास्त होने के बाद गुढ़ा ने सदन में लाल डायरी लहराकर हड़कंप मचा दिया। वह 24 जुलाई को लाल डायरी लेकर विधानसभा अध्यक्ष के सामने पहुंचे और संसदीय कार्य मंत्री शांति धारीवाल की टेबल पर पहुंचे और अपना माइक नीचे रख दिया।
इस दौरान उन्हें कांग्रेस विधायकों ने धक्का देकर दूर कर दिया। गुढ़ा को पूरे सत्र के लिए सदन से निलंबित कर दिया गया। गुढ़ा के साथ-साथ भाजपा विधायक मदन दिलावर को भी निलंबित कर दिया गया।
--आईएएनएस
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