सिरसा, 13 अगस्त (आईएएनएस)। डेरा प्रमुख गुरमीत राम रहीम एक बार बार फरलो पर रोहतक की सुनारिया जेल से रिहा हुआ है। इस पर दिवंगत पत्रकार रामचंद्र छत्रपति के बेटे अंशुल छत्रपति ने सवाल उठाए हैं। उन्होंने कहा कि सरकार उसकी मदद कर रही है। रामचंद्र छत्रपति की सिरसा में 24 अक्टूबर 2002 को गोली मारकर हत्या कर दी गई थी।अंशुल छत्रपति ने कहा कि जब से डेरा प्रमुख को सजा हुई है तभी से वो लगातार जेल से बाहर आ रहा है। पहले जब उसे पैरोल पर बाहर निकाला गया था, तभी मैंने कहा था कि हरियाणा सरकार गुरमीत राम रहीम को जेल से बाहर निकालने के लिए रास्ता तैयार कर रही है। कभी कृषि भूमि की हार्वेस्टिंग के लिए, कभी मुंह बोली बेटी की शादी के नाम पर उसे पैरोल मिलती रही है।
उन्होंने कहा कि गुरमीत राम रहीम को जेल से बाहर निकालने में अड़चन आ रही थी, जिसे हरियाणा सरकार ने दूर किया। साल 2022 में हरियाणा गुड कंडक्ट प्रिसनर्स एक्ट में संशोधन किया। सरकार ने एक वीआईपी कैदी को लाभ पहुंचाने के लिए नियमों में बदलाव किए। उसके बाद से ही राम रहीम पैरोल और फरलो का फायदा उठा रहा है।
अंशुल छत्रपति ने कहा कि हरियाणा सरकार ने कभी आम कैदियों के साथ कोई वास्ता नहीं रखा। परोल के लिए उनकी एप्लीकेशन महीनों के लिए अटका दी जाती हैं। जेल के अंदर गुरमीत राम रहीम के अच्छे व्यवहार की बात कही जाती है। जब वो जेल से बाहर था तब के उसके व्यवहार की बात क्यों नहीं की गई? यह व्यक्ति समाज के लिए घातक है। ऐसे व्यक्ति को कोई भी राजनीतिक फायदा पहुंचाना समाज के लिए खतरा है।
बता दें कि डेरा प्रमुख राम रहीम 2 अलग-अलग मामलों में सजा काट रहा है। 17 जनवरी 2019 और 18 अक्टूबर 2021 को राम रहीम को आजीवन कारावास की सजा सुनाई थी। 2 महिला अनुयायियों से रेप के मामले में राम रहीम 20 साल की सजा काट रहा है। वहीं, पत्रकार रामचंद्र छत्रपति हत्याकांड में भी राम रहीम जेल में सजा काट रहा है।
राम रहीम को 21 दिन की फरलो मिली है। मंगलवार की सुबह वो रोहतक की सुनारिया जेल से बाहर आया। सुनारिया जेल से बाहर आने के बाद राम रहीम अपने बरनावा आश्रम के लिए रवाना हो गया।
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