भोपाल, 1 मई (आईएएनएस)। मध्य प्रदेश के पहले दो चरण में मतदान का प्रतिशत कम रहने से राजनीतिक दल ही नहीं चुनाव आयोग भी चिंतित है। यही कारण है कि आगामी चरणों में मतदान का प्रतिशत बढ़ाने के प्रयास तेज हो गए हैं। राज्य में लोकसभा की 29 सीटें हैं और अब तक दो चरणों में 12 सीटों पर मतदान हो चुका है।
आगे दो चरणों में 17 संसदीय क्षेत्रों में मतदान होना है। पहले दो चरणों में मतदान का प्रतिशत वर्ष 2019 के लोकसभा और वर्ष 2023 के विधानसभा चुनाव के मुकाबले कम रहा।
बताया गया है कि प्रदेश में तीसरे चरण में नौ लोकसभा क्षेत्रों में सात मई को मतदान होना है। इस चरण में मतदान का प्रतिशत अच्छा रहे, इसके लिए चुनाव आयोग के निर्देश पर बीएलओ द्वारा डोर-टू-डोर वोटर पर्ची बांटकर मतदाताओं से व्यक्तिगत सम्पर्क कर उनसे वोट करने की अपील की जा रही है।
इसके अलावा सभी मतदान केन्द्रों में “चलें बूथ की ओर’’ अभियान चलाया जा रहा है। मतदाता वोट करने मतदान केन्द्र तक आएं, इसके लिए भी प्रयास किए जा रहे हैं।
तीसरे और चौथे चरण में मतदान प्रतिशत बढ़ाने के लिए मतदाताओं की जरूरत के अनुसार हर मतदान केन्द्र में पेयजल, रौशनी, रैम्प, बेंच, सुविधा घर और छाया के लिये शामियाना आदि की व्यवस्था की जा रही हैं।
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