💎 आज के बाजार में सबसे स्वस्थ कंपनियों को देखेंशुरू करें

कृष्णा जल बंटवारे संबंधी केंद्र के फैसले पर बीआरएस बोली, यह तेलंगाना की जीत

प्रकाशित 05/10/2023, 02:40 am
कृष्णा जल बंटवारे संबंधी केंद्र के फैसले पर बीआरएस बोली, यह तेलंगाना की जीत

हैदराबाद, 4 अक्टूबर (आईएएनएस)। तेलंगाना और आंध्र प्रदेश के बीच कृष्णा नदी जल बंटवारे का मुद्दा केंद्र द्वारा बुधवार को कृष्णा जल विवाद न्यायाधिकरण-2 को सौंपने का निर्णय लिए जाने के बाद बीआरएस सरकार ने इसे तेलंगाना के लोगों की जीत करार दिया है।राज्य के वित्त मंत्री टी. हरीश राव ने कहा कि केंद्र सरकार ने नौ साल बाद गहरी नींद से जागकर तेलंगाना की मांग पर निर्णय लिया है।

उन्होंने कहा कि यह फैसला आगामी चुनावों को ध्यान में रखकर लिया गया है।

वानापर्थी जिले में एक बैठक को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि अंतर्राज्यीय नदी जल विवाद अधिनियम, 1956 की धारा 5(1) के तहत मौजूदा कृष्णा जल विवाद न्यायाधिकरण-2 के लिए आगे संदर्भ की शर्तों के मुद्दे को मंजूरी देने का केंद्रीय मंत्रिमंडल का निर्णय तेलंगाना और आंध्र प्रदेश के बीच इसके फैसले से तेलंगाना को कृष्णा के जल में अपना उचित हिस्सा मिलेगा।

उन्होंने उम्‍मीद जताई कि इससे अविभाजित महबूबनगर जिले को लाभ होगा। कृष्णा का सबसे बड़ा जलग्रहण क्षेत्र होने के बावजूद यह जिला पानी में अपने उचित हिस्से से वंचित था।

उन्होंने कहा, ट्रिब्यूनल द्वारा परियोजनावार पानी का आवंटन किया जाएगा। पलामुरु-रंगारेड्डी लिफ्ट सिंचाई और कलवाकुर्थी समेत सभी परियोजनाओं को पानी आवंटित किया जाएगा।

हरीश राव ने विवाद को ट्रिब्यूनल में भेजने में हुई लंबी देरी के लिए भी मोदी सरकार की आलोचना की। उन्‍होंने कहा कि कानून के मुताबिक, केंद्र को राज्य सरकार की मांग के एक साल के भीतर ट्रिब्यूनल का गठन करना चाहिए था।

उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री के.चंद्रशेखर राव ने केंद्र को कई पत्र लिखे और मांग करने के लिए कई बार प्रधानमंत्री और केंद्री जलशक्ति मंत्री से मुलाकात की। मंत्री ने कहा कि राज्य सरकार को उच्चतम न्यायालय का दरवाजा खटखटाना पड़ा। चूंकि केंद्र ने ट्रिब्यूनल गठित करने का वादा किया था, लेकिन वह चाहता था कि राज्य सरकार मामला वापस ले ले। राज्य सरकार ने केंद्र पर भरोसा कर मामला वापस ले लिया, लेकिन कोई निर्णय नहीं लिया गया।

तेलंगाना को नदी के पानी का उचित हिस्सा पाने में सफलता मिलने की उम्‍मीद जगने पर हरीश राव ने केंद्र के फैसले को केसीआर और तेलंगाना के लोगों की जीत बताया।

आईएसआरडब्ल्यूडी अधिनियम की धारा 3 के तहत पार्टी राज्यों द्वारा किए गए अनुरोध पर केंद्र द्वारा 2004 में कृष्णा जल विवाद न्यायाधिकरण-द्वितीय का गठन किया गया था। इसके बाद तेलंगाना 2014 में अस्तित्व में आया।

पिछले महीने पलामुरु रंगारेड्डी लिफ्ट सिंचाई योजना (पीआरएलआईएस) का उद्घाटन करते हुए केसीआर ने कृष्णा नदी के पानी में राज्य का हिस्सा तय नहीं करने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की आलोचना की थी। उन्होंने लोगों से भाजपा नेताओं से सवाल करने को कहा था कि केंद्र में उनकी सरकार कृष्णा जल में तेलंगाना का हिस्सा निर्धारित करने में क्यों असमर्थ है। उन्होंने कहा था कि अगर अविभाजित महबूबनगर जिले के भाजपा नेताओं में जरा भी शर्म है तो उन्हें दिल्ली जाकर प्रधानमंत्री से तेलंगाना का हिस्सा तय करने के लिए कहना चाहिए।

मुख्यमंत्री ने याद दिलाया कि राज्य सरकार कृष्णा जल में अपने हिस्से के निर्धारण के लिए सुप्रीम कोर्ट गई थी, लेकिन केंद्र ने मामले को ट्रिब्यूनल में भेजने का वादा करते हुए मामले को वापस लेने के लिए कहा। उन्होंने कहा था, ''केंद्र द्वारा सुझाव दिए जाने के बाद एक साल बीत चुका है लेकिन कुछ नहीं हुआ।''

इस बीच, केंद्रीय मंत्री और तेलंगाना भाजपा अध्यक्ष जी. किशन रेड्डी ने कैबिनेट के फैसले के लिए प्रधानमंत्री को धन्यवाद दिया है। उन्होंने एक्स पर पोस्ट किया, "यह निर्णय न केवल तेलंगाना के लोगों को आश्‍वासन देता है कि केंद्र सरकार तेलंगाना के विकास के लिए प्रतिबद्ध है, बल्कि यह भी दर्शाता है कि भाजपा हमेशा तेलंगाना के लोगों के हितों को ध्यान में रखती है।"

--आईएएनएस

एसजीके

नवीनतम टिप्पणियाँ

हमारा ऐप इंस्टॉल करें
जोखिम प्रकटीकरण: वित्तीय उपकरण एवं/या क्रिप्टो करेंसी में ट्रेडिंग में आपके निवेश की राशि के कुछ, या सभी को खोने का जोखिम शामिल है, और सभी निवेशकों के लिए उपयुक्त नहीं हो सकता है। क्रिप्टो करेंसी की कीमत काफी अस्थिर होती है एवं वित्तीय, नियामक या राजनैतिक घटनाओं जैसे बाहरी कारकों से प्रभावित हो सकती है। मार्जिन पर ट्रेडिंग से वित्तीय जोखिम में वृद्धि होती है।
वित्तीय उपकरण या क्रिप्टो करेंसी में ट्रेड करने का निर्णय लेने से पहले आपको वित्तीय बाज़ारों में ट्रेडिंग से जुड़े जोखिमों एवं खर्चों की पूरी जानकारी होनी चाहिए, आपको अपने निवेश लक्ष्यों, अनुभव के स्तर एवं जोखिम के परिमाण पर सावधानी से विचार करना चाहिए, एवं जहां आवश्यकता हो वहाँ पेशेवर सलाह लेनी चाहिए।
फ्यूज़न मीडिया आपको याद दिलाना चाहता है कि इस वेबसाइट में मौजूद डेटा पूर्ण रूप से रियल टाइम एवं सटीक नहीं है। वेबसाइट पर मौजूद डेटा और मूल्य पूर्ण रूप से किसी बाज़ार या एक्सचेंज द्वारा नहीं दिए गए हैं, बल्कि बाज़ार निर्माताओं द्वारा भी दिए गए हो सकते हैं, एवं अतः कीमतों का सटीक ना होना एवं किसी भी बाज़ार में असल कीमत से भिन्न होने का अर्थ है कि कीमतें परिचायक हैं एवं ट्रेडिंग उद्देश्यों के लिए उपयुक्त नहीं है। फ्यूज़न मीडिया एवं इस वेबसाइट में दिए गए डेटा का कोई भी प्रदाता आपकी ट्रेडिंग के फलस्वरूप हुए नुकसान या हानि, अथवा इस वेबसाइट में दी गयी जानकारी पर आपके विश्वास के लिए किसी भी प्रकार से उत्तरदायी नहीं होगा।
फ्यूज़न मीडिया एवं/या डेटा प्रदाता की स्पष्ट पूर्व लिखित अनुमति के बिना इस वेबसाइट में मौजूद डेटा का प्रयोग, संचय, पुनरुत्पादन, प्रदर्शन, संशोधन, प्रेषण या वितरण करना निषिद्ध है। सभी बौद्धिक संपत्ति अधिकार प्रदाताओं एवं/या इस वेबसाइट में मौजूद डेटा प्रदान करने वाले एक्सचेंज द्वारा आरक्षित हैं।
फ्यूज़न मीडिया को विज्ञापनों या विज्ञापनदाताओं के साथ हुई आपकी बातचीत के आधार पर वेबसाइट पर आने वाले विज्ञापनों के लिए मुआवज़ा दिया जा सकता है।
इस समझौते का अंग्रेजी संस्करण मुख्य संस्करण है, जो अंग्रेजी संस्करण और हिंदी संस्करण के बीच विसंगति होने पर प्रभावी होता है।
© 2007-2024 - फ्यूजन मीडिया लिमिटेड सर्वाधिकार सुरक्षित