लंदन, 17 जनवरी (आईएएनएस)। लंदन में भारतीय मूल के एक व्यक्ति और उसके साथी को जिम लॉकर तोड़ने और बैंक कार्ड चुराने के आरोप में सजा सुनाई गई है। बताया जा रहा है कि आरोपियों ने यह चोरी लग्जरी लाइफस्टाइल जीने के लिए की थी।मेट्रोपॉलिटन पुलिस ने सोमवार को कहा कि जब लोग अपने वर्कआउट में बिजी होते थे, तब एशले सिंह (39) और सोफी ब्रुइया (20) जिम जाते और पीड़ितों के लॉकरों को खंगालते थे।
इसके बाद यह कपल चुराए गए क्रेडिट कार्डों को एक्सपेंसिव टेक और डिजाइनर गियर पर खर्च करते थे, फिर उन्हें बेचते थे और कैश का इस्तेमाल बैग, शूज, हॉलीडे और पप्पी खरीदने के लिए करते थे।
दोनों को जनवरी 2022 और जनवरी 2023 के बीच कुल 250,000 पाउंड मूल्य धोखाधड़ी करने का दोषी ठहराया गया। इस मामले में 10 जनवरी को क्रॉयडन क्राउन कोर्ट में सजा सुनाई गई थी।
सिंह को तीन साल की जेल की सजा सुनाई गई, जबकि ब्रुइया को 20 महीने की सजा सुनाई गई। उसे पुनर्वास कार्यक्रम में रहने और 120 घंटे तक बिना वेतन के काम करने की भी सजा दी गई।
इस कपल की हरकतों को एक स्थानीय अधिकारी ने नोटिस किया और उनके पैटर्न को समझते हुए जासूसों को हायर किया, जो इकोनॉमिक क्राइम में एक्पर्ट हैं।
लेविशम स्थित एक टीम ने सीसीटीवी पर कपल के फोन, कारों और चेहरों का पता लगाया और उन सभी को एक साथ जोड़ा।
मेट्रोपॉलिटन पुलिस के अधिकारियों ने उन्हें 27 जनवरी, 2023 को गैटविक हवाई अड्डे पर गिरफ्तार कर लिया जब वे 2,000 यूरो मूल्य के डिजाइनर सामान के साथ पेरिस से लौटे थे।
सजा सुनाने वाले न्यायाधीश ने इसे "दुर्भावनापूर्ण साजिश" करार दिया, जिसमें कम से कम 18 लोगों को निशाना बनाया गया।
जज ने बताया कि इस कपल की हरकतों का लोगों पर क्या प्रभाव पड़ा है, जिसमें ऐसे उदाहरण भी शामिल हैं जहां लोग अब अजनबियों के बीच सुरक्षित महसूस नहीं करते।
इस मामले की जांच करने वाली मेट की आर्थिक अपराध टीम के डीसी लुइस दा सिल्वा ने कहा, "हम जानते हैं कि लोग चोरी के बढ़ते मामलों से काफी चिंता में हैं। यह एक भयानक अपराध है और इससे तनाव, दर्द और वित्तीय नुकसान होता है। इसलिए हम इस अपराध को गंभीरता से लेते हैं और हमारी एक पूरी टीम सिंह और ब्रुइया को पकड़ने के लिए प्रतिबद्ध थी।''
उन्होंने कहा कि दोनों के अपराधों से प्राप्त आय का उपयोग पीड़ितों को मुआवजा देने में किया जाएगा।
कुल मिलाकर 18 धोखाधड़ी रिपोर्टें थीं, जिनमें 14 मेट्रोपॉलिटन क्षेत्र से, एक ससेक्स से, एक हर्टफोर्डशायर से और दो रिपोर्ट कैंब्रिजशायर से थीं।
--आईएएनएस
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