लंदन, 27 सितम्बर (आईएएनएस)। यूरोपीय देशों द्वारा रूस और यूरोप के बीच दो प्रमुख गैस पाइपलाइनों में रहस्यमय लीक की जांच की जा रही है। नॉर्ड स्ट्रीम 1 और 2 को हुए नुकसान का कारण स्पष्ट नहीं है, लेकिन अधिकारियों ने तोड़फोड़ से इंकार नहीं किया है।बीबीसी की रिपोर्ट के अनुसार, नॉर्ड स्ट्रीम 1 के संचालक ने कहा कि समुद्र के नीचे की लाइनों ने एक साथ एक दिन में अभूतपूर्व नुकसान का सामना किया है। मॉस्को और यूरोप के बीच ऊर्जा संघर्ष में दोनों पाइपलाइन फ्लैशप्वाइंट रही।
नुकसान का कारण जो भी हो, यह यूरोप को गैस की आपूर्ति को तुरंत प्रभावित नहीं करेगा। यूरोपीय संघ ने पहले रूस पर यूरोप को ब्लैकमेल करने के लिए गैस की आपूर्ति में कमी का उपयोग करने का आरोप लगाया है, लेकिन मास्को इससे इनकार करता है। इसमें कहा गया है कि रूस के खिलाफ प्रतिबंधों से गैस के बुनियादी ढांचे को ठीक से बनाए रखना असंभव हो गया है।
ब्रिटिश ब्रॉडकास्टर ने बताया, जर्मन मीडिया में अपुष्ट रिपोटरें में कहा गया है कि अधिकारी पानी के नीचे गैस नेटवर्क पर हमले से इंकार नहीं कर रहे हैं। डेनमार्क के प्रधान मंत्री मेटे फ्रेडरिकसेन ने कहा कि निष्कर्ष पर आना जल्दबाजी होगी, लेकिन यह कल्पना करना कठिन है कि कई लीक एक संयोग हो सकते हैं।
क्रेमलिन के प्रवक्ता दिमित्री पेसकोव ने कहा कि वह इस घटना को लेकर बेहद चिंतित हैं और जानबूझकर हमले की संभावना से इंकार नहीं किया जा सकता है। नॉर्ड स्ट्रीम 1 पाइपलाइन- जिसमें दो समानांतर शाखाएं हैं। इसका अगस्त से किसी भी गैस का परिवहन नहीं किया है जब रूस ने इसे रखरखाव के लिए बंद कर दिया था। यह सेंट पीटर्सबर्ग के पास रूसी तट से उत्तर-पूर्वी जर्मनी तक बाल्टिक सागर के नीचे 1,200 किमी तक फैला है। यूक्रेन पर रूसी आक्रमण शुरू होने के बाद इसकी जुड़वां रूसी स्वामित्व वाली पाइपलाइन, नॉर्ड स्ट्रीम 2 को रोक दिया गया था।
हालांकि दोनों में से कोई भी पाइपलाइन काम नहीं कर रही है, फिर भी दोनों में गैस है। जर्मन, डेनिश और स्वीडिश अधिकारी सभी घटनाओं की जांच कर रहे हैं। नॉर्ड स्ट्रीम 2 के संचालकों ने सोमवार दोपहर पाइपलाइन में दबाव कम होने की चेतावनी दी। इससे डेनिश अधिकारियों ने चेतावनी दी कि जहाजों को बोर्नहोम द्वीप के पास के क्षेत्र से बचना चाहिए।
--आईएएनएस
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