iGrain India - नई दिल्ली । देश के विभिन्न भागों में दक्षिण-पश्चिम मानसून की बेहतर बारिश होने से इस बार खरीफ फसलों के उत्पादन क्षेत्र में अच्छी बढ़ोत्तरी हो रही है।
केन्द्रीय कृषि मंत्रालय के नवीनतम आंकड़ों के अनुसार राष्ट्रीय स्तर पर खरीफ फसलों का कुल बिजाई क्षेत्र बढ़कर 378.72 लाख हेक्टेयर पर पहुंच गया है जो गत वर्ष की समान अवधि के क्षेत्रफल 331.90 लाख हेक्टेयर से 14.1 प्रतिशत ज्यादा है।
इसके तहत खसकर दलहन फसलों का रकबा गत वर्ष के 23.78 लाख हेक्टेयर से करीब 55 प्रतिशत उछलकर इस बार 36.81 लाख हेक्टेयर हो गया है।
इसकी उम्मीद पहले से की जा रही थी क्योंकि खरीफ सीजन के तीनों प्रमुख दलहन- अरहर, उड़द एवं मूंग का घरेलू बाजार भाव लम्बे समय से काफी ऊंचे स्तर पर चल रहा है।
इसी तरह धान का उत्पादन क्षेत्र पिछले साल के 50.26 लाख हेक्टेयर से 19.35 प्रतिशत बढ़कर इस अबार 8 जुलाई तक करीब 60 लाख हेक्टेयर पर पहुंच गया।
दलहन फसलों के संवर्ग में खासकर अरहर की बिजाई में जबरदस्त बढ़ोत्तरी देखी जा रही है। इसका उत्पादन क्षेत्र पिछले साल 8 जुलाई तक केवल 4.09 लाख हेक्टेयर पर पहुंचा था जो इस बार पांच गुणा उछलकर 20.82 लाख हेक्टेयर पर पहुंच गया।
आगे भी इसकी शानदार बिजाई जारी रहने की उम्मीद है। तिलहन फसलों का बिजाई क्षेत्र भी बढ़कर इस बार 80.31 लाख हेक्टेयर हो गया है।
उड़द का क्षेत्रफल भी 3.67 लाख हेक्टेयर से बढ़कर 5.37 लाख हेक्टेयर पर पहुंचा लेकिन मोटे अनाजों का रकबा घट गया।
कृषि मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबिक मोटे अनाजों एवं श्री अन्न (मिलेट्स) का उत्पादन क्षेत्र पिछले साल के 82.08 लाख हेक्टेयर से घटकर चालू खरीफ सीजन में 58.48 लाख हेक्टेयर पर अटक गया।
हालांकि हेक्टेयर पर पहुंचा मगर बाजरा सहित अन्य अनाजों की बिजाई पिछड़ रही है। तिलहन फसलों का उत्पादन क्षेत्र गत वर्ष के 51.97 लाख हेक्टेयर से उछलकर इस बार 80.31 लाख हेक्टेयर हो गया।
नकदी या औद्योगिक फसलों में गन्ना का उत्पादन क्षेत्र 55.45 लाख हेक्टेयर से बढ़कर 56.88 लाख हेक्टेयर तथा कपास का बिजाई क्षेत्र 62.34 लाख हेक्टेयर से उछलकर 80.63 लाख हेक्टेयर पर पहुंच गया है। खरीफ फसलों की बिजाई आगे भी जारी रहेगी।