💎 आज के बाजार में सबसे स्वस्थ कंपनियों को देखेंशुरू करें

ए.के. हंगल: ‘इतना सन्नाटा क्यों है भाई...’, शोले के रहीम चाचा की अदाकारी के कायल थे लोग, 52 की उम्र में किया था डेब्यू

प्रकाशित 26/08/2024, 06:05 pm
ए.के. हंगल: ‘इतना सन्नाटा क्यों है भाई...’, शोले के रहीम चाचा की अदाकारी के कायल थे लोग, 52 की उम्र में किया था डेब्यू

नई दिल्ली, 26 अगस्त (आईएएनएस)। शोले के रहीम चाचा हो या लगान फिल्म के शंभू काका। इन किरदारों के बारे में बात करते ही एक बुजुर्ग शख्स की छवि सामने आती है। इस किरदार को निभाया था लेजेंडरी एक्टर अवतार किशन हंगल उर्फ ए.के हंगल ने। उनकी अदाकारी ऐसी कि दर्शक भी उससे आसानी से जुड़ जाते थे। शोले फिल्म के रहीम चाचा का ‘इतना सन्नाटा क्यों है भाई...’ डायलॉग इसका एक बड़ा उदाहरण हैं। ए.के हंगल ने 52 साल की उम्र में हिंदी सिनेमा में कदम रखा। अपने करियर के दौरान उन्होंने बड़े भाई, पिता या किसी बुजुर्ग की शख्स की भूमिका को ही निभाया। लेकिन, जब-जब वह बड़े पर्दे पर आए तो उन्होंने अपनी अदाकारी से लोगों का दिल जीत लिया।

ए.के. हंगल की बायोग्राफी 'लाइफ एंड टाइम्स ऑफ ए.के. हंगल’ में उनके जीवन के अनसुने पहलुओं पर बात की गई है। किताब के अनुसार, ए.के. हंगल के पिता के करीबी दोस्त ने उन्हें दर्जी बनने का सुझाव दिया था। इसके बाद उन्होंने इंग्लैंड के एक दर्जी से इसका काम भी सीखा था।

1 फरवरी, 1914 को सियालकोट में पैदा हुए अवतार किशन हंगल फिल्मों में आने से पहले एक स्वतंत्रता सेनानी थी। शुरुआती दिनों में वह एक दर्जी का काम करते थे, लेकिन 1929 से 1947 के बीच भारत की आजादी की लड़ाई में भी सक्रिय रहे। उन्हें कराची की जेल में तीन साल तक कैद रहना पड़ा। जब वह रिहा हुए तो भारत आ गए।

उन्होंने 1949 से 1965 तक भारत के सिनेमाघरों में कई नाटकों में अभिनय किया। जब उनकी उम्र 52 साल थी तो उन्होंने 1966 में बसु भट्टाचार्य की तीसरी कसम से फिल्म करियर की शुरुआत की।

ए.के. हंगल के लिए 1970 से 1990 के बीच का दौर काफी यादगार रहा। इस दौरान उन्होंने हीर रांझा, नमक हराम, शौकीन, शोले, आइना, अवतार, अर्जुन, आंधी, तपस्या, कोरा कागज और बावर्ची जैसी फिल्मों में अहम भूमिका निभाई। बताया जाता है कि उन्होंने राजेश खन्ना के साथ करीब 16 फिल्में की।

यही नहीं, हंगल ने मुंबई में आयोजित एक फैशन शो में व्हीलचेयर में रैंप वॉक किया था। उनकी अंतिम फिल्म पहेली थी, जबकि वह आखिरी बार टीवी शो 'मधुबाला' में भी नजर आए थे।

ए.के. हंगल ने अपने चार दशक के फिल्मी करियर में 225 फिल्मों में काम किया। उनकी उम्र भले ही बढ़ती गई, लेकिन फिल्मों में काम करने का जुनून बरकरार रहा। राष्ट्रपति अब्दुल कलाम ने ए.के. हंगल को 2006 पद्म भूषण अवॉर्ड से सम्मानित किया था। उन्होंने 26 अगस्त 2012 को इस दुनिया को अलविदा कह दिया।

--आईएएनएस

एफएम/केआर

नवीनतम टिप्पणियाँ

हमारा ऐप इंस्टॉल करें
जोखिम प्रकटीकरण: वित्तीय उपकरण एवं/या क्रिप्टो करेंसी में ट्रेडिंग में आपके निवेश की राशि के कुछ, या सभी को खोने का जोखिम शामिल है, और सभी निवेशकों के लिए उपयुक्त नहीं हो सकता है। क्रिप्टो करेंसी की कीमत काफी अस्थिर होती है एवं वित्तीय, नियामक या राजनैतिक घटनाओं जैसे बाहरी कारकों से प्रभावित हो सकती है। मार्जिन पर ट्रेडिंग से वित्तीय जोखिम में वृद्धि होती है।
वित्तीय उपकरण या क्रिप्टो करेंसी में ट्रेड करने का निर्णय लेने से पहले आपको वित्तीय बाज़ारों में ट्रेडिंग से जुड़े जोखिमों एवं खर्चों की पूरी जानकारी होनी चाहिए, आपको अपने निवेश लक्ष्यों, अनुभव के स्तर एवं जोखिम के परिमाण पर सावधानी से विचार करना चाहिए, एवं जहां आवश्यकता हो वहाँ पेशेवर सलाह लेनी चाहिए।
फ्यूज़न मीडिया आपको याद दिलाना चाहता है कि इस वेबसाइट में मौजूद डेटा पूर्ण रूप से रियल टाइम एवं सटीक नहीं है। वेबसाइट पर मौजूद डेटा और मूल्य पूर्ण रूप से किसी बाज़ार या एक्सचेंज द्वारा नहीं दिए गए हैं, बल्कि बाज़ार निर्माताओं द्वारा भी दिए गए हो सकते हैं, एवं अतः कीमतों का सटीक ना होना एवं किसी भी बाज़ार में असल कीमत से भिन्न होने का अर्थ है कि कीमतें परिचायक हैं एवं ट्रेडिंग उद्देश्यों के लिए उपयुक्त नहीं है। फ्यूज़न मीडिया एवं इस वेबसाइट में दिए गए डेटा का कोई भी प्रदाता आपकी ट्रेडिंग के फलस्वरूप हुए नुकसान या हानि, अथवा इस वेबसाइट में दी गयी जानकारी पर आपके विश्वास के लिए किसी भी प्रकार से उत्तरदायी नहीं होगा।
फ्यूज़न मीडिया एवं/या डेटा प्रदाता की स्पष्ट पूर्व लिखित अनुमति के बिना इस वेबसाइट में मौजूद डेटा का प्रयोग, संचय, पुनरुत्पादन, प्रदर्शन, संशोधन, प्रेषण या वितरण करना निषिद्ध है। सभी बौद्धिक संपत्ति अधिकार प्रदाताओं एवं/या इस वेबसाइट में मौजूद डेटा प्रदान करने वाले एक्सचेंज द्वारा आरक्षित हैं।
फ्यूज़न मीडिया को विज्ञापनों या विज्ञापनदाताओं के साथ हुई आपकी बातचीत के आधार पर वेबसाइट पर आने वाले विज्ञापनों के लिए मुआवज़ा दिया जा सकता है।
इस समझौते का अंग्रेजी संस्करण मुख्य संस्करण है, जो अंग्रेजी संस्करण और हिंदी संस्करण के बीच विसंगति होने पर प्रभावी होता है।
© 2007-2024 - फ्यूजन मीडिया लिमिटेड सर्वाधिकार सुरक्षित