नई दिल्ली, 31 अगस्त (आईएएनएस)। चालू वित्तवर्ष (2022-23) की पहली तिमाही में भारत की आर्थिक वृद्धि दर बढ़कर 13.5 प्रतिशत हो गई, जो 2021-22 की अंतिम तिमाही में दर्ज 4.1 प्रतिशत की वृद्धि से बहुत बड़ी छलांग है।यह एक साल में जीडीपी के आंकड़ों में पहली दोहरे अंकों की वृद्धि है, क्योंकि 2021-22 की पहली तिमाही में अंतिम दोहरे अंकों की वृद्धि 20.1 प्रतिशत दर्ज की गई थी।
राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (एनएसओ) द्वारा जारी एक बयान में कहा गया है, वास्तविक जीडीपी या सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) लगातार (2011-12) कीमतों पर 2022-23 की पहली तिमाही में 36.85 लाख करोड़ रुपये के स्तर को प्राप्त करने का अनुमान है, जबकि 2021-22 की पहली तिमाही में 32.46 लाख करोड़ रुपये की वृद्धि हुई।
चालू वित्तवर्ष की पहली तिमाही में 13.5 प्रतिशत की वृद्धि भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के 16.2 प्रतिशत के पूर्वानुमान से कम है।
रेटिंग एजेंसी इक्रा ने चालू वित्तवर्ष की पहली तिमाही में 13 फीसदी की वृद्धि का अनुमान लगाया था।
2021-22 की पहली तिमाही में 20.1 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज करने के बाद पूरी तिमाही के दौरान सकल घरेलू उत्पाद की वृद्धि में लगातार गिरावट आई थी। 2021-22 की दूसरी तिमाही में यह घटकर 8.4 फीसदी पर आ गया, तीसरी तिमाही में यह और गिरकर 5.4 फीसदी पर आ गया जबकि पिछले वित्तवर्ष की चौथी तिमाही में यह घटकर 4.1 फीसदी पर आ गया।
आरबीआई ने चालू वित्तवर्ष के लिए अर्थव्यवस्था की वृद्धि दर 7.2 फीसदी रहने का अनुमान जताया है।
--आईएएनएस
एसजीके/एएनएम